Haryana Police and IIM Rohtak  के बीच एमओए हुआ साइन
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Haryana Police and IIM Rohtak के बीच एमओए हुआ साइन

Haryana Police and IIM Rohtak : हरियाणा पुलिस ने अपने अधिकारियों में प्रबंधकीय कौशल विकसित करने के उद्देश्य से बुधवार को भारतीय प्रबंधन संस्थान, रोहतक के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओए) पर हस्ताक्षर किए।  डीजीपी  हरियाणा प्रशांत कुमार अग्रवाल और निदेशक आईआईएम रोहतक, प्रो. धीरज पी. शर्मा की उपस्थिति में पुलिस मुख्यालय में यह एमओए साइन हुआ।
हरियाणा पुलिस की ओर से एडीजीपी (कानून व्यवस्था) हरियाणा, संदीप खिरवार और आईआईएम रोहतक से डॉ शिवेंद्र कुमार पांडे, डीन (अनुसंधान और कार्यकारी शिक्षा) ने एमओए पर हस्ताक्षर किए।
Haryana Police and IIM Rohtak : इस मौके पर डीजीपी ने कहा कि हमें तकनीकी उन्नति के वर्तमान बदलते परिदृश्य में बदलाव के लिए कार्य करने की आवश्यकता है। आज, आईआईएम रोहतक जैसे प्रतिष्ठित संस्थान के साथ करार किया जा रहा है। इससे आने वाले समय में निश्चित रूप से बदलाव देखने को मिलेगा तथा पुलिसिंग और अधिक पेशेवर तरीके से हो सकेगी।
एमओए के अनुसार, भारतीय प्रबंधन संस्थान, रोहतक और हरियाणा पुलिस संयुक्त रूप से एक पाठ्यक्रम विकसित करने और राज्य पुलिस के आईपीएस और डीएसपी रैंक के ग्रुप-ए के अधिकारियों के लिए प्रबंधन में स्नातकोत्तर डिप्लोमा आयोजित करने का प्रस्ताव है। साथ ही, विशेष रूप से पुलिसिंग अनुप्रयोगों के लिए डिजाइन किए गए डेटा एनालिटिक्स में एक एग्जीक्यूटिव सर्टिफिकेट प्रोग्राम आयोजित करने का भी प्रस्ताव है। समझौते के तहत पुलिस के काम और नागरिकों की अपेक्षाओं के बीच तालमेल बनाने के तौर तरीकों को भी तलाशा जाएगा। राज्य सरकार पाठ्यक्रम में भाग लेने के लिए पुलिस अधिकारियों को नामित करेगी। यह समझौता पांच साल की अवधि के लिए प्रभावी होगा।
एमओए का मुख्य उद्देश्य पुलिस अधिकारियों और आईआईएम-रोहतक के फैकल्टी व छात्रों के बीच नॉलेज-शेयरिंग के लिए एक संस्थागत तंत्र स्थापित करना, क्षमता निर्माण और कौशल विकास में राज्य पुलिस की सहायता करना और मानद या परामर्श के आधार पर शैक्षणिक व शोध उद्देश्यों के लिए फैकल्टी और शोधार्थियों के आदान-प्रदान की सुविधा प्रदान करना है।
इस समझौते का उद्देश्य वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को प्रभावी मानव संसाधन और सामग्री संसाधन प्रबंधन के लिए प्रबंधकीय कौशल प्रदान करना है। यह समझौता हरियाणा पुलिस को मामलों की जांच की गुणवत्ता में और सुधार लाने, रिकॉर्ड के कुशल प्रबंधन और मामलों के प्रभावी पर्यवेक्षण को सुनिश्चित करने के लिए नवीनतम तकनीकी हस्तक्षेपों के साथ पुलिस कर्मियों को अपडेट करने में सक्षम करेगा। वार्षिक संगोष्ठी, सेमिनार, सम्मेलन, कार्यशाला, अल्पावधि पाठ्यक्रम आदि भी इस एमओए का हिस्सा होंगे।
इस अवसर पर एडीजीपी प्रशासन एवं आईटी डॉ ए एस चावला, आईजीपी आधुनिकीकरण अमिताभ ढिल्लों, आईजीपी (कानून व्यवस्था) संजय कुमार, डीआईजी महिला सुरक्षा नाजनीन भसीन, डीआईजी (कानून व्यवस्था) ओ.पी. नरवाल, पुलिस के अन्य अधिकारियों आईआईएम रोहतक के प्रतिनिधि भी उपस्थित थे।
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