Noida News: नोएडा प्राधिकरण (Noida Authority) के पास जमीन धीरे-धीरे खत्म होती जा रही है। यह आय का बड़ा स्रोत है। इसके अलावा संपत्ति के आवंटन से मिलने वाला लीज रेंट भी मुख्य स्रोत में से एक है। ऐसे में और क्या-क्या विकल्प हो सकते हैं, इसकी जानकारी जुटाने के लिए प्राधिकरण सलाहकार की मदद लेगा। इसके लिए आरएफपी (रिक्वेस्ट फोर प्रपोजल) जारी कर दी गई है। इसके लिए कंपनियां दो मार्च तक आवेदन कर सकती हैं।
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Noida News: प्राधिकरण अधिकारियों ने बताया कि आय बढ़ाने के लिए सलाहकार से खासतौर से तीन बिंदुओं पर मदद ली जाएगी। इसमें खरीदी जाने वाली चीजों के मूल्य का आंकलन कर रिपोर्ट देने, नीति समीक्षा और वित्तीय विश्लेषण होगा। वित्तीय विश्लेषण के अंतर्गत सलाहकार को बताना होगा कि किन-किन स्रोत से और आय हो सकती है। इसके अलावा जो खर्चे हो रहे हैं, उनमें और कैसे कटौती की जा सकती है। अधिकारियों ने बताया कि सलाहकार चयन करने से पहले 15 फरवरी को प्री बिड मीटिंग प्राधिकरण में रखी गई है। इसमें कंपनियों को प्राधिकरण की ओर से जारी की गई आरएफपी के बारे में पूरी जानकारी दी जाएगी। इसकी तकनीकी बिड़ 3 मार्च 2023 को खोली जाएगी। आरएफपी से संबंधित जानकारी नोएडा प्राधिकरण की वेबसाइट पर उपलब्ध करा दी गई है। गौरतलब है कि संपत्ति के आवंटन रेट में बढ़ोत्तरी कर भी प्राधिकरण राजस्व प्राप्त करता है। प्राधिकरण ने पिछले साल ही कुछ संपत्तियों के रेट बढ़ाए थे जिसका लोगों ने विरोध किया था।
Noida News: पैसों की कमी को देखते हुए ही नोएडा प्राधिकरण ने चार परियोजनाओं के लिए 230 करोड़ रुपये पीएम गति शक्ति योजना के तहत मांग रखे हैं। इन योजनाओं में नोएडा-ग्रेनो एक्सप्रेस वे पर सेक्टर-142 के सामने बन रहा अंडरपास, बहलोलपुर अंडरपास, पर्थला फ्लाईओवर और भंगेल एलिवेटेड रोड शामिल है। पैसों की कमी से इनके काम में रूकावट आ रही है। महत्वपूर्ण यह है कि संबंधित परियोजनाओं का काम पहले से ही तय डेडलाइन से एक से दो साल तक देरी से चल रहा है। यह पैसा 31 मार्च 2023 तक खर्च करना है।