Air pollution : दिवाली के बाद 10वें दिन भी छाई धुंध की परत, आबोहवा ‘बहुत खराब’
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Air pollution : दिवाली के बाद 10वें दिन भी छाई धुंध की परत, आबोहवा ‘बहुत खराब’

  • दिल्ली में बंद होंगे स्कूल! 
  • राजधानी में 335 दर्ज किया गया एक्यूआई

Air pollution : नई दिल्ली। दिल्ली में वायु प्रदूषण संकट अभी कम होता नहीं दिख रहा है। दिवाली के बाद लगातार 10वें दिन भी दिल्ली में वायु प्रदूषण की समस्या बनी रही, रविवार सुबह राजधानी के कई हिस्सों में धुंध की घनी परत छाई रही। हालात को देखते हुए डॉक्टरों ने सरकार को बच्चों के लिए स्कूल बंद करने का सुझाव दिया है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के आंकड़ों के अनुसार, रविवार सुबह 8 बजे तक दिल्ली में वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 335 दर्ज किया गया, जो ‘बहुत खराब’ श्रेणी में आता है। वायु गुणवत्ता एवं मौसम पूवार्नुमान एवं अनुसंधान प्रणाली (सफर-इंडिया) द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, रविवार सुबह राजधानी के कई हिस्सों में वायु गुणवत्ता का स्तर बहुत खराब दर्ज किया गया।

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सफर-इंडिया के आंकड़ों के अनुसार, आनंद विहार में एक्यूआई 351, बवाना में 383, सीआरआरआई मथुरा रोड में 323, द्वारका सेक्टर 8 में 341, आईजीआई एयरपोर्ट में 326, आईटीओ में 328, लोधी रोड में 319, मुंडका में 358, नजफगढ़ में 341, न्यू मोती बाग में 394, ओखला फेज-2 में 339, आरके पुरम में 368 और वजीरपुर में 366 दर्ज किया गया।
दिल्ली में आज सुबह कर्तव्य पथ और इंडिया गेट के आसपास के इलाके में धुंध की परत देखी गई। सुबह 7 बजे तक इलाके में एक्यूआई 357 दर्ज किया गया। वहीं, कालिंदी कुंज और आसपास के इलाकों में ऊंची इमारतें धुंध से ढकी नजर आईं और इलाके में एक्यूआई 323 दर्ज किया गया। दिल्ली का धौला कुआं भी धुंध की चपेट में रहा और सीपीसीबी के अनुसार इस क्षेत्र में एक्यूआई गिरकर 394 पर आ गया, जिसे ‘बहुत खराब’ श्रेणी में रखा गया है। बता दें कि, ‘200 से 300’ के बीच वायु गुणवत्ता सूचकांक को ‘खराब’, ‘301 से 400’ के बीच ‘बहुत खराब’, ‘401-450’ के बीच ‘गंभीर’ और 450 से अधिक के बीच ‘गंभीर प्लस’ माना जाता है। राजधानी में वायु प्रदूषण का स्तर ‘बहुत खराब’ तक पहुंचने के साथ ही डॉक्टरों का कहना है कि सांस संबंधी बीमारियों से पीड़ित लोगों को भी सांस लेने में दिक्कत हो रही है।

Air pollution : स्कूलों को बंद करने का सुझाव
अपोलो अस्पताल में सांस संबंधी मामलों के वरिष्ठ सलाहकार डॉ. निखिल मोदी ने कहा कि नियमित रोगियों के अलावा, जिन लोगों को पहले कोई सांस संबंधी समस्या नहीं थी, उनमें भी नाक बहने, छींकने, खांसने और सांस लेने में दिक्कत जैसे लक्षण दिखाई दे रहे हैं। डॉक्टर ने सुझाव दिया कि सरकार को बच्चों के लिए स्कूल बंद कर देने चाहिए क्योंकि वे अभी भी असुरक्षित हैं। डॉ. मोदी ने कहा कि जब भी प्रदूषण का स्तर एक निश्चित सीमा से अधिक हुआ है, तो सरकार ने स्कूलों को बंद करने का विकल्प चुना है।

Air pollution : प्रदूषण के कारण अधिक नुकसान होना तय
डॉक्टर ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों से हम देख रहे हैं कि सरकार ने कार्रवाई की है। जब भी प्रदूषण का स्तर एक निश्चित सीमा से अधिक हो जाता है, तो वे स्कूलों को बंद करने का विकल्प चुनते हैं। यह महत्वपूर्ण है क्योंकि बच्चे एक कमजोर ग्रुप से हैं। एक वयस्क के रूप में हम मास्क पहनते हैं और खुद को बेहतर तरीके से बचा सकते हैं, लेकिन बच्चे आमतौर पर इन उपायों को प्रभावी ढंग से नहीं अपनाते हैं। दूसरे, उनके फेफड़े अभी भी विकासशील अवस्था में होते हैं, इसलिए उन्हें इस प्रदूषण के कारण अधिक नुकसान होना तय है।

Air pollution : मानकों से दोगुना प्रदूषण
मानकों के मुताबिक, हवा में पीएम 10 का स्तर 100 से कम और पीएम 2.5 का स्तर 60 से कम होने पर ही उसे स्वास्थ्यकारी माना जाता है। सीपीसीबी के मुताबिक दिल्ली-एनसीआर की हवा में शनिवार की शाम चार बजे पीएम 10 का स्तर 262 और पीएम 2.5 का स्तर 149 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर रहा। यानी दिल्ली-एनसीआर की हवा में मानकों से ढाई गुने से भी ज्यादा प्रदूषण मौजूद है। भारतीय उष्णदेशीय मौसम विज्ञान संस्थान द्वारा तैयार वायु गुणवत्ता पूर्व चेतावनी प्रणाली के मुताबिक अगले छह दिनों के बीच हवा की गति आमतौर पर 10 किलोमीटर प्रति घंटे से कम रहने की संभावना है।

Air pollution : तापमान थोड़ा ज्यादा रहने का अनुमान
अगले पांच-छह दिन के बीच अधिकतम और न्यूनतम तापमान सामान्य से दो से तीन डिग्री सेल्सियस तक ज्यादा रहने का अनुमान है। हालांकि, सुबह के समय अब हल्का कोहरा देखने को मिल सकता है। दिल्ली में अच्छे मॉनसून के बावजूद इस बार जाड़े की अभी कायदे से शुरूआत नहीं हुई है। अक्टूबर का महीना दिल्ली में 73 साल में सबसे ज्यादा गर्म रहा था। अब नवंबर में भी गर्मी महसूस हो रही है।

Air pollution : सामान्य नहीं रहा पारा
इस महीने के अभी तक के नौ दिन में से एक दिन भी ऐसा नहीं रहा है जब तापमान सामान्य या सामान्य से नीचे आया हो। दिल्ली के ज्यादातर इलाकों में सुबह के समय हल्की धुंध दिख रही है, लेकिन दिन चढ़ने के साथ ही धूप निकल रही है

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