Yamuna Expressway: कैसे हो सकता है कि गाड़ी में शव फंसे और 11 तक चालक को पता न चलें
Yamuna Expressway: यमुना एक्सप्रेस वे पर 11 किलोमीटर तक शव को घसीटा और चालक बेखबर रहा। जब कार टोल प्लाजा पर रुकी, तब सिक्योरिटी गार्ड की नजर कार के नीचे फंसे शव पर पड़ी। तुरंत पुलिस को सूचना दी गई। पुलिस ने शव को कार के नीचे से निकाला। शव दो हिस्सों में बंट गया था। गाड़ी में जगह-जगह टुकड़े चिपके थे।
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एसपी देहात त्रिगुन विशेन के मुताबिक जिस कार में शव फंसा था वह आगरा से दिल्ली जा रही थी। दिल्ली निवासी वीरेंद्र सिंह स्विफ्ट कार चला रहे थे। पुलिस उससे पूछताछ कर रही है। उन्होंने बताया है कि रात को एक्सप्रेस- वे पर कोहरा था। किसी वाहन से ये हादसा हुआ होगा, जिसका शव एक्सप्रेस-वे पर पड़ा रहा होगा। कोहरे में शव दिखाई नहीं दिया। ऐसे में कार में फंसकर घिसटता चला आया होगा।मृतक की जेब से टूटा की-पैड मोबाइल और करीब 500 रुपए मिले हैं। शव इस कदर बिगड़ गया था कि चेहरा पहचान में नहीं आ रहा था। पुलिस एक्सप्रेस-वे पर लगे सीसीटीवी को खंगाल रही है। मृतक की शिनाख्त इटावा निवासी रिजपाल सिंह 25 वर्ष के रूप में हुई है। जो दिल्ली में कोरियर कंपनी में गाड़ी चलाता था।
ळादसा या साजिश
Yamuna Expressway: एसपी ने बताया कि एक्सप्रेस-वे पर मांट क्षेत्र में माइल स्टोन-106 पर खून के निशान मिले हैं। आशंका है कि वहां हादसा हुआ था। शव टोल प्लाजा तक घिसटता आया। माइल स्टोन-106 से टोल प्लाजा की दूरी करीब 11 किमी है। टक्कर कार से हुई या किसी और वाहन से इसकी जांच की जा रही है। कार स्विफ्ट डिजायर है, नंबर डीएल12 सीटी2125 है। आज तड़के 4 बजे मांट टोल प्लाजा पर पहुंची। कार में 2 महिला और 2 पुरुष सवार थे। वे लोग दिल्ली के तिगड़ी थाना क्षेत्र के संगम विहार के रहने वाले हैं। परिवार के साथ आगरा में शादी कार्यक्रम से लौट रहे थे। टोल कटाने के लिए जब गाड़ी रुकी तो वहां मौजूद गार्ड ने गाड़ी के पीछे से सड़क पर बहते खून के निशान दिखे।