चोरी के मोबाइल फोन का क्या होता है! खबर पूरी पढ़े तो जान जाएंगे

नोएडा थाना सेक्टर 126 पुलिस ने एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश किया है, जो नोएडा व आसपास के इलाकों से मोबाइल चोरी और छीन कर ले जाता था। उसके बाद सप्लायर को देता था। सप्लायर इन मोबाइल फोंस को ले जाकर जामताड़ा में उन लोगों को देता था, जो ऑनलाइन फ्रॉड करते हैं या फिर कॉलिंग करके आपके बैंक अकाउंट से रुपए साफ कर देते हैं। पुलिस ने 2 लोगों को गिरफ्तार कर इनके कब्जे से करीब 15 लाख रुपए के मोबाइल फोन बरामद किए हैं। अब तक यह गिरोह 25 से 30 लाख के मोबाइल फोन चोरी कर चुका है। ज्यादातर वारदातें बाॅटैनिकल गार्डन पर किया करता था।

एडिशनल डीसीपी शक्ति मोहन अवस्थी ने बताया कि राहुल कश्यप पुत्र अशोक कश्यप और सुनील पुत्र जगरूप सिंह मिलकर नोएडा में भीड़भाड़ वाले इलाकों से मोबाइल फोन चोरी करके ले जाते थे। जिसके बाद यह लोग मेवात में आरिफ और उसके साथियों को यह मोबाइल फोन दे देते थे खालिद और आरिफ व उसके साथी इन मोबाइल फोन को ले जाकर में बेचते थे।

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जामताड़ा में बैठे युवक इन मोबाइल फोंस के जरिए लोगों से ठगी करते थे। ठगी से पीड़ित लोग जब शिकायत करते थे तो पुलिस मोबाइल फोन आइईएमआई नंबर के आधार पर टेस करते हुए मोबाइल फोन के मालिक तक पहुंचती थी। तो उसको पता चलता था, कि मोबाइल फोन पहले से ही चोरी हो गया है। एक मोबाइल फोन 5 से 7 हजार का बेचा करते थे। ताकि साइबर अपराध करने वाले इनका इस्तेमाल कर सकें। जामताड़ा ही नहीं बल्कि नेपाल और झारखंड में भी यह लोग मोबाइल फोन सप्लाई करते थे। नोएडा के अलग-अलग स्थानों में इनके खिलाफ चोरी के मामले दर्ज हैं।

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