UP News: योगी ने किया “ नो यॉर आर्मी फेस्टिवल-2024” का उद्घाटन

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UP News: लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को राजधानी लखनऊ में भारतीय सेना के मध्य कमान द्वारा आयोजित ‘नो योर आर्मी फेस्टिवल-2024’ का उद्घाटन किया।

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मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर आयोजित सैन्य प्रदर्शनी का अवलोकन किया तथा सिख रेजीमेन्ट के जवानों की युद्ध कला ‘गतका’ के प्रदर्शन को भी देखा।मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि उत्तर प्रदेश, वीरों की भूमि है। देश की सुरक्षा के लिए हर लड़ाई में हमारे जवानों ने महत्वपूर्ण योगदान दिया है। अनेक वीरों ने अपने शौर्य और पराक्रम से देश की सुरक्षा करते हुए प्रदेश का गौरव बढ़ाया है। जब सेना और आम जनमानस एक दूसरे के साथ मिलकर कार्य करते हैं, तो परिणाम कई गुना अधिक लाने में सफलता प्राप्त होती है। पूरे देशवासियों की भावनाएं अपनी सेना व सैन्य बलों के साथ सदैव जुड़ती हुई दिखाई देती हैं।

उन्होंने ‘नो योर आर्मी फेस्टिवल’ के इस वर्ष के आयोजन के लिए प्रदेश की राजधानी लखनऊ स्थित मध्य कमान को चयनित किये जाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, केन्द्रीय रक्षामंत्री राजनाथ सिंह और भारतीय सेना का आभार व्यक्त किया।‘नो योर आर्मी फेस्टिवल’ भारतीय सेना को नजदीक से जानने, शौर्य और पराक्रम को नजदीक से पहचानने का अवसर प्रदान करता है। यह सेना के हथियारों, साजो-सामान, कार्यशैली, कार्य कुशलता और उन परम्पराओं को जानने का एक अच्छा अवसर है, जिनसे लोग सामान्यतः अनभिज्ञ रहते हैं। यहां पर सेना की प्रदर्शनी को देखने का हम सबको अवसर प्राप्त हो रहा है। इस प्रदर्शनी के माध्यम से भी सेना की शक्ति, पराक्रम और राष्ट्रभक्ति की निष्ठा को हमें नजदीक से जानने और समझने का अवसर प्राप्त होगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी की प्रेरणा से जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में भारत ने आत्मनिर्भरता के लक्ष्य को प्राप्त किया है। ऐसे ही सेना के हथियारों और साजो-सामान में भी आत्मनिर्भरता और मेक इन इंडिया की परिकल्पना को हम साकार कर सकें, इसके लिए यह प्रदर्शनी हमें एक अवसर प्रदान करती है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार सेवारत सैनिकों और सेवानिवृत्त सैनिकों तथा वीरों व वीर नारियों के कल्याण के लिए पूरी प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है। देश की सीमाओं की रक्षा करने में अपने प्राणों की आहुति देने वाले सैनिकों के परिजनों को प्रदेश सरकार अपनी ओर से 50 लाख रुपए की अनुग्रह राशि और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की व्यवस्था भी करती है।

उन्होंने कहा कि योग्य और दक्ष जवान, भारतीय सेना को प्राप्त हो, इसके लिए उत्तर प्रदेश वह राज्य है जिसने अपना पहला सैनिक स्कूल देश को वर्ष 1960 में दिया था। उत्तर प्रदेश के सैनिक स्कूल को यह गौरव प्राप्त है, कि सेना के सर्वोच्च सम्मान परमवीर चक्र लखनऊ सैनिक स्कूल के ही एक छात्र कैप्टन मनोज कुमार पाण्डेय को वर्ष 1999 में कारगिल युद्ध में अपने अप्रतिम शौर्य और पराक्रम के लिए भारतीय सेना ने प्रदान किया। प्रदेश सरकार ने अपने इस पहले सैनिक स्कूल का नामकरण भी कैप्टन मनोज कुमार पाण्डेय के नाम पर किया है।

राज्य सरकार जनपद गोरखपुर में प्रदेश के 05वें नए सैनिक स्कूल के निर्माण की कार्रवाई को युद्ध स्तर पर आगे बढ़ा रही हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने देश में 100 नए सैनिक स्कूल स्थापित करने के अभियान को अपने हाथों में लिया है, उनमें से उत्तर प्रदेश 16 सैनिक स्कूलों के प्रस्ताव को पहले ही भेज चुका है। विगत दिनों वृंदावन में देश के पहले बालिका सैनिक स्कूल का शुभारम्भ रक्षामंत्री जी के साथ किया गया है। सेना में बालकों के साथ-साथ बालिकाओं को भी अवसर प्राप्त हो रहे हैं।

उन्होंने कहा कि आज युवाओं के लिए सेना में शामिल होने के अनेक कार्यक्रम आगे बढ़ रहे हैं।हमारे सिख रेजीमेंट से जुड़े बहादुर जवानों ने यहां पर प्राचीन युद्ध कला ‘गतका’ का बेहतरीन प्रदर्शन किया। भारत की प्राचीन युद्ध कला से उस कालखण्ड में अपने युवाओं को आक्रांताओं का जवाब देने के लिए तैयार किया जाता था। उन्होंने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि आज भारतीय सेना ने भारत की इस प्राचीन युद्ध कला को अपना हिस्सा बनकर उसे सम्मान दिया है। साथ ही, सिख गुरुओं के त्याग और बलिदान को भी एक नई प्रेरणा के रूप में भारतवासियों के सामने रखकर सम्मान देने का कार्य किया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी 15 जनवरी को सेना दिवस के अवसर पर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में आयोजित होने वाले कार्यक्रम के लिए राज्य सरकार अपना पूरा सहयोग देने की प्रतिबद्धता पहले ही व्यक्त कर चुकी है। पूरा भारत अपने जवानों के साथ है तथा उनके शौर्य और पराक्रम की गाथा का स्मरण करता है। सरकार अपने जवानों को हर सम्भव सहायता देने की अपनी प्रतिबद्धता को पूरी जवाबदेही के साथ आगे बढ़ा रही है।

इस अवसर पर जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह, पूर्व मंत्री व विधान परिषद सदस्य डाॅ0 महेन्द्र सिंह, जनरल ऑफिसर कमांडिंग-इन-चीफ मध्य कमान लेफ्टीनेंट जनरल एन0एस0 राजा सुब्रमणी, मध्य कमान के चीफ ऑफ स्टाफ लेफ्टीनेंट जनरल मुकेश चड्ढा, प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र, सलाहकार मुख्यमंत्री अवनीश कुमार अवस्थी, भारतीय सेना के अधिकारीगण व जवान सहित शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।

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