प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज यानि रविवार को पहली बार दीपोत्सव में शामिल होने अयोध्या पहुंचे हैं। प्रधानमंत्री ने अयोध्या में भगवान रामलला के दर्शन और पूजा-अर्चना की। अयोध्या को रंग-बिरगी लाइटों से सजाया हुआ है। लाखों की संख्या में ऐ साथ दीप जलाने का रिकार्ड भी बनाया गया। इसी दौरान पीएम सरयू घाट पर दीपोत्सव समारोह में शामिल हुए। पीएम मोदी ने अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र स्थल का निरीक्षण किया और प्रतीकात्मक भगवान श्री राम का राज्याभिषेक किया।
इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “एक समय था, जब देश में राम के अस्तित्व पर प्रश्नचिन्ह लगाये जाते थे। परिणाम यह हुआ कि हमारे प्राचीन नगर, धार्मिक स्थल बदहाल हो गये। बीते आठ सालों में अपनी अस्मिता के प्रतीक चिन्हों का पुनरुद्धार कर देश ने हीन भावना की बेड़ियों को तोड़ा है।” पीएम मोदी ने कहा कि श्रीराम ने अपने शासन में जिन मूल्यों को गढ़ा वह ‘सबका साथ सबका विकास’ के मूलमंत्र की प्रेरणा है। उन्होंने कहा कि भगवान राम जिस किसी भी भूमिका में रहे, उन्होंने कर्तव्यों के पालन का संदेश दिया। मोदी ने कहा कि राम भारत की उस भावना के प्रतीक हैं, जो मानती है कि हमारे अधिकार हमारे कर्तव्यों से स्वयंसिद्ध हो जाते हैं। यही हमारे संविधान का भी संदेश है।पीएम मोदी बोले, “भगवान राम मर्यादापुरुषोत्तम कहे जाते हैं। मर्यादा मान रखना भी सिखाती है और मान देना भी और मर्यादा जिस बोध की आग्रह होती है, वो बोध कर्तव्य ही है। उन्होंने कहा कि राम किसी को पीछे नहीं छोड़ते। राम कर्तव्य-भावना से मुख नहीं मोड़ते इसलिए राम भारत की उस भावना के प्रतीक हैं, जो मानती है कि हमारे अधिकार हमारे कर्तव्यों से स्वयं सिद्ध हो जाते हैं। इस कार्यक्रम से जनता को भी एक संदेश देने की कोशिश की गई है तााकि आगामी चुनावों में इसका लाभ मिल सके। वही प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी के अलावा राज्यपाल आनंदी बेन पटेल भी मौजूद रही। सीएम ने दीप जलाने के लिए मिले सर्टिफिकेट को भी पीएम के हाथ में सौंपा।