अभियान चलाकर अवैध वाटर प्लॉटों को बंद किया जाए बंद: राकेश कुमार
जिलाधिकारी की अध्यक्षता में जिला भूगर्भ जल प्रबंधन परिषद की बैठक आयोजित
Ghaziabad news : जिले में अवैध रूप से भूजल दोहन करने वाले 51 बारातघर, फार्म हाउस,बैंक्वेट हॉल पर 2-2 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है।
जिलाधिकारी राकेश कुमार सिंह ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि जिले में अवैध रूप से संचालित पानी के प्लांट को बंद कराने की कार्रवाई की जाए। सोमवार को कलेक्ट्रेट स्थित सभागार में जिलाधिकारी राकेश कुमार सिंह ने सीडीओ अभिनव गोपाल,नोडल अधिकारी एवं लघु सिंचाई विभाग के अधिशासी अभियंता हरिओम, उपायुक्त उद्योग श्रीनाथ पासवान, भू-गर्भ जल विभाग गौतमबुद्धनगर के अवर अभियंता जाफर अली, यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के सहायक अभियंता पर्यावरण संतोष कुमार, डिप्टी रेंजर शशांक गुप्ता, जिला उद्यान अधिकारी कुमारी निधि सिंह,जल निगम ग्रामीण के सहायक अभियंता रामदत्त,जलकल विभाग के सहायक अभियंता ओम प्रकाश,अवर अभियंता मनोज कुमार,नगर पालिका परिषद लोनी के अधिशासी अधिकारी केके मिश्रा, जिला कृषि अधिकारी कार्यालय से संजय कुमार, विशेषज्ञ आकाश वशिष्ठ आदि की मौजूदगी में जिला भूगर्भ जल प्रबंधन परिषद की बैठक की।
बैठक में पोर्टल पर एमएसएमई श्रेणी के अंतर्गत 8 कूप पंजीकरण आवेदनों पर विचार किया गया। इनमें से 6 आवेदन स्वीकृत किए गए और दो आवेदन अस्वीकृत किए गए। राज्य प्राधिकरण से संस्तुति अनापत्ति प्रमाण पत्र नवीनीकरण के लिए 26 आवेदन प्राप्त हुए। इसमें फर्म को पूर्व में जारी अनापत्ति प्रमाण पत्रों में दी गई शर्तों का शत-प्रतिशत अनुपालन कर लिया गया हो। नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल नई दिल्ली के पारित आदेश के क्रम में जिलाधिकारी ने निर्देश दिए कि जनपद के औद्योगिक क्षेत्रों में बगैर अनुमति प्राप्त किए अवैध रूप से भूजल दोहन कर रही फर्म, संस्थाओं के विरूद्ध सर्वे कर नियमानुसार दंडात्मक कार्रवाई की जाए। इसके साथ ही जिले में अवैध रूप से भूजल दोहन करने के कारण 51 बारातघर, फार्म हाउस, बैंक्वेट हॉल पर दो-दो लाख रुपए का जुमार्ना अधिरोपित किया गया।
जिलाधिकारी ने जिले में गिरते भूजल स्तर को रोकने लिए अवैध रूप से भूजल दोहन करने वाली फर्म एवं शिकायतों पर नोटिस जारी कर दंडात्मक कार्रवाई की जाए। इसके साथ ही संदिग्ध वाटर प्लांट की जांच की जाए।पानी वेस्ट यूनिट वालों के साथ वार्ता की जाए। बोरवोल, वाटर प्लॉट पंजीकरण नहीं करने वालों से वार्ता करें उन्हें नोटिस भेजे जाए। अगर नोटिस के बाद भी पंजीकरण नहीं कराया जाता है तो नियमानुसार जुमार्ना लगाते हुए दंडात्मक कार्रवाई करते हुए संस्थान को सील करें। जहां रूफ टॉप रेन वाटर हार्वेस्टिंग हो उसकी जांच की जाए। उन्होंने बैठक में अधिकारियों को निर्देश दिए कि अभियान चलाकर अवैध वाटर प्लांट को बंद करने की कार्यवाही की जाए।