Ghaziabad News : खुद को कमजोर न समझें बेटियां,’हक की बात’ करें : डीएम
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Ghaziabad News : खुद को कमजोर न समझें बेटियां,’हक की बात’ करें : डीएम

Ghaziabad News :  गाजियाबाद। डीएम राकेश कुमार सिंह की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट स्थित महात्मा गांधी सभागार में मिशन शक्ति अभियान-4 के तहत महिलाओं एवं बालिकाओं के संरक्षण, सुरक्षा देने एवं आत्मनिर्भर स्वावलंबी बनाने के लिए मेगा इवेंट ‘हक की बात’ कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में हिंसा से पीड़ित महिलाओं समाज सेविकाओं अध्यापिकाओं ने डीएम से सीधे संवाद किया गया।

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डीएम ने बताया कि आज महिलाएं विज्ञान, इंजीनियर, उद्योग, मनोवैज्ञानिक तथा कला हर क्षेत्र आदि में उन्नति कर रही हैं। महिलाओं के लिए चलायी जा रही विभिन्न हेल्पलाइन नंबर्स, 181,112,10981090 एवं मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना, निराश्रित महिला पेंशन, वन स्टॉप सेंटर, रानी लक्ष्मी बाई, महिला एवं बाल सम्मान कोष आदि योजनाओं के बारे में विस्तृत रूप से बताया गया। साथ ही यह भी बताया गया कि सरकार व प्रशासन का उद्देश्य महिलाओं की सुरक्षा सम्मान एवं स्वावलंबन को सुनिश्चित करना है। कार्यक्रम में प्रथम प्रश्न पीड़ित युवती ने पूछा कि विवाह के बाद घर से यदि उसे और उसके बच्चे को बेघर कर दिया जाए तो उसे क्या करना चाहिए।

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डीएम ने कहा कि वह परिवार परामर्श केंद्र के माध्यम काउंसलिंग कराकर विधिक सहायता आदि के माध्यम से समस्या का समाधान करा सकते हैं। द्वितीय प्रश्न महिला ने पूछा कि वह अनाथ व गरीब बच्चों को शिक्षा देने का कार्य कर रही है। उन बच्चों की शिक्षा के लिए वह स्वयं खर्चा कर रही हैं, लेकिन जगह व फण्ड की कमी होने के कारण उन्हें आर्थिक समस्या हो रही हैं। डीएम ने बताया कि इसके विभिन्न मल्टीनेशनल कंपनी के सीएसआर फंड से आर्थिक सहायता के लिए समन्वय किये जाने के बारे में बताया तथा मदद कराए जाने का आश्वासन दिया। तृतीय प्रश्न पीड़ित युवती ने पूछा कि उनके साथ 10 अक्टूबर को अभद्रता जैसी वारदात हुई थी। जिसकी रिपोर्ट थाने में दर्ज नहीं की गई है, डीएम ने सहायक पुलिस आयुक्त को निर्देश दिए गए कि आज ही थाने से संपर्क कर रिपोर्ट दर्ज कराई जाए।

चतुर्थ प्रश्न अध्यापिका ने पूछा कि कैथवाडी गांव ब्लॉक मुरादनगर में गांव के विद्यालय के पास कच्ची शराब बनती हैं। जिसका दुष्प्रभाव बच्चों महिलाओं पर पड़ रहा है। डीएम ने आश्वासन दिया जल्द ही आबकारी विभाग की टीम के जरिए कार्रवाई की जाएगी।
पंचम प्रश्न पीडित युवती ने पूछा कि उनकी संस्था के सहयोग से स्किल सेंटर व सिलाई प्रोडक्ट जैसे बेडशीट, कोरोसिया आदि बनाए जाते हैं। उक्त उत्पादों की मार्केटिंग के लिए वह क्या कर सकती हैं। डीएम ने बताया कि वह राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन से जुड़कर अपने बने उत्पादों को मार्केट में ला सकती हैं।

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