Delhi News । दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट के स्पेशल जज एमके नागपाल ने राज्यसभा सदस्य संजय सिंह की ईडी (Enforcement Directorate) हिरासत 13 अक्टूबर तक के लिए बढ़ा दी है। आज संजय सिंह की ईडी हिरासत खत्म हो रही थी, जिसके बाद उन्हें कोर्ट में पेश किया गया। संजय सिंह ने कोर्ट से खुद के एनकाउंटर की आशंका जताई। इस पर कोर्ट ने कहा कि बिना कोर्ट को बताए कहीं नहीं ले जाना चाहिए। पेशी के दौरान ईडी ने संजय सिंह की पांच दिनों की हिरासत की मांग की। ईडी की ओर से बताया गया कि इस मामले में रिश्वत मांगे जाने के सबूत जांच एजेंसी के पास है। ईडी इन आरोपों की जांच कर रही है। ईडी की ओर से बताया गया कि हाल ही में चंडीगढ़ में हुई रेड में बिजनेसमैन की निशानदेही पर छापेमारी की गई। उसका बयान दर्ज हो गया है और उसने कुछ ऐसी अहम जानकारी दी, जिसका खुलासा इस वक़्त नहीं किया जा सकता।
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ईडी ने कोर्ट को बताया कि शराब व्यापारियों के लाइसेंस को क्लियर करने के लिए रिश्वत मांगी गई थी। ईडी ने कहा कि सर्वेश मिश्रा भी जांच में सहयोग नहीं कर रहा है। तब कोर्ट ने ईडी से पूछा कि आपने संजय सिंह से उसका आमना-सामना क्यों नहीं कराया। इस पर संजय सिंह की ओर से पेश वकील रेबेका जॉन ने कहा कि विवेक त्यागी से कोई आमना-सामना नहीं कराया गया। उन्होंने कहा कि किसी भी गवाह से आमना सामना नहीं कराया गया। बैंक के परिवारिक ट्रांजेक्शन को लेकर सवाल पूछे गए। क्या इसके लिए ईडी को पांच दिन की हिरासत मिली थी। ईडी ने उनसे पत्नी को 10 हजार रुपये क्यों भेजे और मां को एक लाख क्यों ट्रांसफर किया, इस तरह के सवाल पूछे।
रेबेका जॉन ने कहा कि पिछले पांच दिनों में ईडी ने ऐसे सवाल पूछे, जिनका जांच से कोई मतलब नहीं था। जॉन ने कहा कि अगर संजय सिंह को सबूतों को मिटाना ही होगा, तो उनके पास 2021 से अब तक का समय था। रेबेका जॉन ने कहा कि संजय सिंह ने कोई फोन नष्ट नहीं किया। अगर सीडीआर में दिनेश अरोड़ा को फोन करने की तस्दीक होती है, तो सबूत आपके पास है, जांच कीजिए। उसके लिए संजय सिंह से पूछने की क्या जरूरत है। ईडी का मकसद सिर्फ संजय सिंह की छवि खराब करना है। रेबेका जॉन ने ईडी की रिमांड का विरोध करते हुए कहा कि रिमांड पेपर में ऐसा कुछ भी नहीं है, जिसकी वजह से संजय सिंह को फिर से ईडी की रिमांड पर भेजा जाए। इस पर ईडी ने कहा कि इस मामले में बड़े पैमाने पर पैसे का लेन-देन हुआ है, इसलिए और हिरासत की जरूरत है।
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सुनवाई के दौरान संजय सिंह ने कोर्ट से कहा कि रात के साढ़े दस बजे कहा गया कि आपको बाहर ले जाया जा रहा है। मेरे पूछने पर बताया गया कि तुगलक रोड थाने जाना है। जब मैंने पूछा कि क्या जज महोदय की इजाजत ली गई है। मेरे अड़ने पर उन्होंने कहा कि मुझे लिखकर दीजिए। मैंने लिखकर दिया। दूसरे दिन भी यही हुआ। इसका मतलब है कि इनका दूसरा एजेंडा है। अब जज साहब इनसे पूछिए किस ऊपर वाले के कहने पर मुझे ऊपर भेजने की तैयारी थी। मेरा सिर्फ इतना अनुरोध है कि जहां भी ले जाना है, जज साहब को बता दीजिए।
संजय सिंह ने कोर्ट से खुद के एनकाउंटर की आशंका जताई। उन्होंने कोर्ट से कहा कि मैंने ईडी से पूछा कि अगर मेरा एनकाउंटर हो जाएगा, तो उसका जवाबदेह कौन होगा। इस पर ईडी के अधिकारियों ने कहा कि उसका जवाब हम देंगे। इसके बाद कोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा कि बिना कोर्ट को बताए कहीं नहीं ले जाना चाहिए। संजय सिंह को उनके परिवार और वकील से मिलने के लिए 10 मिनट की इजाजत कोर्ट रूम में ही दे दी। ईडी ने संजय सिंह को 4 अक्टूबर को उनके सरकारी आवास पर पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया था।