Balasore News: ओडिशा के बालासोर जिले में स्थित फकीर मोहन कॉलेज में एक दिल दहलाने वाली घटना ने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया है। शनिवार, 12 जुलाई 2025 को, कॉलेज की एकीकृत बीएड की द्वितीय वर्ष की 20 वर्षीय छात्रा सौम्यश्री बिसी ने कॉलेज परिसर में खुद को आग लगा ली। इस घटना में वह 90-95% तक जल गई और वर्तमान में भुवनेश्वर के एम्स अस्पताल में वेंटिलेटर पर जिंदगी और मौत के बीच संघर्ष कर रही है। उसे बचाने की कोशिश में एक अन्य छात्र, ज्योतिप्रकाश बिस्वाल, भी 70% तक झुलस गया।
सौम्यश्री ने कॉलेज के शिक्षा विभाग के प्रमुख (एचओडी) समीर कुमार साहू पर यौन उत्पीड़न और मानसिक प्रताड़ना का आरोप लगाया था। उसका दावा था कि साहू ने कम उपस्थिति के बदले अनुचित मांगें कीं और उसे धमकी दी कि अगर उसने उनकी बात नहीं मानी तो उसका शैक्षणिक भविष्य बर्बाद कर देगा। सौम्यश्री ने 30 जून को कॉलेज की आंतरिक शिकायत समिति (आईसीसी) में औपचारिक शिकायत दर्ज की थी और 2 जुलाई से कॉलेज परिसर में धरना देकर कार्रवाई की मांग कर रही थी।
छात्रा के दोस्तों और सहपाठियों के अनुसार, कॉलेज प्रशासन और पुलिस ने उसकी शिकायत पर कोई ठोस कदम नहीं उठाया, जिससे वह गंभीर मानसिक तनाव में थी। शनिवार को वह प्रिंसिपल दिलीप कुमार घोष से मिली, जिन्होंने उसे धैर्य रखने की सलाह दी और कहा कि मामले की जांच चल रही है। हालांकि, सौम्यश्री के पिता ने दावा किया कि उनकी बेटी पर शिकायत वापस लेने का दबाव डाला जा रहा था, जिसके चलते उसने यह आत्मघाती कदम उठाया।
घटना के बाद बालासोर पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी शिक्षक समीर कुमार साहू को सहदेवखुंटा थाने में हिरासत में लिया और बाद में गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया। बालासोर के पुलिस अधीक्षक (एसपी) राज प्रसाद ने कहा कि साहू के खिलाफ सबूत जुटाने के लिए कॉलेज के सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है।
ओडिशा उच्च शिक्षा विभाग ने भी इस मामले में सख्त कदम उठाए। कॉलेज के प्रिंसिपल दिलीप कुमार घोष और आरोपी शिक्षक समीर साहू को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया। विभाग ने प्रिंसिपल पर इस गंभीर मामले को ठीक तरह से न संभालने का आरोप लगाया।
ओडिशा सरकार ने इस घटना की उच्च-स्तरीय जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति गठित की है, जिसमें उच्च शिक्षा निदेशक कालीप्रसन्न महापात्रा, संयुक्त सचिव मौसमी नायक, और बीजेबी स्वायत्त कॉलेज की प्रोफेसर झुमकी रथ शामिल हैं। समिति को घटना के कारणों, कॉलेज प्रशासन की भूमिका, और आंतरिक शिकायत समिति की कार्यप्रणाली की जांच का जिम्मा सौंपा गया है। उच्च शिक्षा मंत्री श्री सूर्यवंशी सूरज ने कहा, “यह एक अत्यंत दुखद और गंभीर घटना है। दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जाएगी ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।” सरकार ने पीड़िता के इलाज का पूरा खर्च वहन करने का भी वादा किया।
इस घटना ने राजनीतिक और सामाजिक हलकों में व्यापक हंगामा मचाया है। ओडिशा प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने मामले की जांच के लिए आठ सदस्यीय तथ्य-खोज समिति बनाई है, जिसकी अध्यक्षता मीनाक्षी बाहिनीपति करेंगी। बीजू जनता दल (बीजद) की नेता लेखा सामंतसिंघर ने भाजपा सरकार पर महिलाओं की सुरक्षा में नाकाम रहने का आरोप लगाया। वहीं, बालासोर के सांसद प्रताप चंद्र सारंगी ने कहा कि उन्होंने पहले ही प्रिंसिपल और पुलिस से बात की थी, लेकिन कार्रवाई में देरी हुई।
New Delhi News: साइना ने कहा , “जीवन कभी-कभी हमें अलग-अलग दिशाओं में ले जाता है, और कि तलाक की घोषणा

