मुंबई। हिंदी सिनेमा के दो सबसे बड़े सितारे शाहरुख खान और सलमान खान (Shah Rukh Khan and Salman Khan) अब 60 वर्ष की उम्र के पड़ाव को पार कर चुके है। ऐसे में सभी के मन में सवाल उठता है कि दोनों उम्रदारज होने के बाद भी बालीवुड पर राज कर रहे है। अब सामने आई है पूरी सच्चाई।
जानिए पूरी कहानी
शाहरुख खान (Shah Rukh Khan) का जन्म 2 नवंबर 1965 को हुआ, जबकि सलमान खान (Salman Khan) का जन्म 27 दिसंबर 1965 को हुआ। लगभग छह दशकों की इस जीवन यात्रा में दोनों ने न सिर्फ भारतीय सिनेमा को नई ऊँचाइयाँ दीं, बल्कि करोड़ों प्रशंसकों के दिलों पर अमिट छाप भी छोड़ी। शाहरुख खान दिल्ली के लड़के से ‘किंग ऑफ बॉलीवुड’ कैसे बने…
शुरुआती जीवन
शाहरुख खान का जन्म नई दिल्ली में एक मध्यमवर्गीय परिवार में हुआ। पिता मीर ताज मोहम्मद खान स्वतंत्रता सेनानी थे और माँ लतीफ फातिमा सामाजिक कार्यों से जुड़ी थीं। कम उम्र में माता-पिता को खो देने के बाद शाहरुख ने कठिन परिस्थितियों में संघर्ष किया।
अभिनय की शुरुआत में थिएटर और टीवी से करियर की शुरुआत हुई। जिसमें ‘फौजी’ (1988) और ‘सर्कस’ से पहचान मिली। फिर 1992 में फिल्म ‘दीवाना’ से बॉलीवुड में धमाकेदार एंट्री हुई।
सफलता की कहानी
शाहरुख खान ने रोमांटिक हीरो की परिभाषा बदल दी। डीडीएलजे, बाजीगर, दिल तो पागल है, कुछ कुछ होता है, देवदास, चेन्नई एक्सप्रेस, पठान, जवान जैसी फिल्मों ने उन्हें वैश्विक स्टार बनाया। इस दौरान उनका सबसे प्रभावशाली रहा है। जिसमें संवाद अदायगी
करिश्माई स्क्रीन प्रेजेंस, जोखिम लेने की हिम्मत आदि शामिल है।
आज शाहरुख न केवल अभिनेता हैं बल्कि रेड चिलीज एंटरटेनमेंट के मालिक, अंतरराष्ट्रीय बिजनेस ब्रांड और भारत के सबसे अमीर अभिनेताओं में से एक हैं।
सलमान खान की बात करें तो स्टारकिड से ‘भाईजान’ बनने तक का सफर तय
पारिवारिक पृष्ठभूमि
सलमान खान का जन्म इंदौर में हुआ। पिता सलीम खान हिंदी सिनेमा के प्रसिद्ध पटकथा लेखक रहे हैं। फिल्मी माहौल में पले-बढ़े सलमान ने शुरू से ही सिनेमा को करीब से देखा। उन्होंने अभिनय की शुरुआत 1988 में ‘बीवी हो तो ऐसी’ से की। जिसके बाद 1989 की ‘मैंने प्यार किया’ ने उन्हें रातों-रात सुपरस्टार बना दिया। उतार-चढ़ाव और वापसी का दौर चलता रहा। 2000 के दशक में करियर में गिरावट आई, लेकिन वांटेड (2009) से शानदार वापसी हुई। इसके बाद दबंग, बजरंगी भाईजान, सुल्तान, टाइगर सीरीज जैसी फिल्मों ने उन्हें मास एंटरटेनमेंट का सबसे बड़ा चेहरा बना दिया।
सलमान की पहचान बनी
एक्शन फिल्में, मास अपील, ‘वन-मैन शो’, साथ ही ‘बीइंग ह्यूमन’ के जरिए उन्होंने सामाजिक कार्यों में भी गहरी पहचान बनाई। यही कारण रहा कि कामयाबी का। यदि देखे तो शाहरुख और सलमान लगातार खुद को बदलने की क्षमता रखते है। उसके अलावा दर्शकों की नब्ज समझना, असफलताओं से सीखना, स्टारडम के साथ अनुशासन, फिल्मों से आगे ब्रांड बनना आदि। शाहरुख जहाँ रोमांस और ग्लोबल अपील का चेहरा बने, वहीं सलमान ने जमीनी, जन-भावनाओं से जुड़ा सुपरस्टार मॉडल के रुपे में देखे जाते है।।
प्रतिस्पर्धा से दोस्ती तक
एक समय दोनों के बीच टकराव की खबरें सुर्खियों में रहीं, लेकिन आज वही रिश्ते
‘पठान’ और ‘टाइगर 3’ जैसे कैमियो के जरिए दोस्ती और भाईचारे की मिसाल बन चुके हैं।
देखा जाए तो 60 की उम्र में भी शाहरुख खान और सलमान खान भारतीय सिनेमा की रीढ़ बने हुए हैं। उनकी यात्रा यह साबित करती है कि स्टार उम्र का मोहताज नहीं, मेहनत और जुनून का नतीजा होता है।

