Noida News: जनपद दीवानी एवं फौजदारी बार एसोसिएशन ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश में हाई कोर्ट बेंच की स्थापना की मांग को लेकर जिलाधिकारी के माध्यम से प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा।
बार एसोसिएशन के अध्यक्ष प्रमेंद्र सिंह भाटी एडवोकेट ने कहा कि पिछले लगभग 50 वर्षों से अधिवक्ता और आम जनता लगातार आंदोलनरत हैं, लेकिन अब तक पश्चिमी उत्तर प्रदेश को हाई कोर्ट बेंच नहीं मिल पाई। जबकि हाल ही में महाराष्ट्र के कोल्हापुर में केवल 6 जिलों के लिए चौथी बेंच की घोषणा की गई है, जिसकी कुल आबादी मात्र 1 करोड़ 64 लाख है।
इसके विपरीत, पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 22 जिलों की आबादी 7 करोड़ से अधिक है, बावजूद इसके यहां बेंच की स्थापना नहीं हुई। कोल्हापुर की बेंच का कार्य 18 अगस्त 2025 से शुरू होगा, लेकिन पश्चिमी उत्तर प्रदेश की अनदेखी से अधिवक्ताओं और आम जनता में गहरी नाराजगी व रोष है।
एसोसिएशन ने केंद्र व प्रदेश सरकार पर सौतेले व्यवहार का आरोप लगाते हुए मांग की कि जैसे महाराष्ट्र में ‘जस्टिस एट डोरस्टेप’ की भावना से जनता को सस्ता, सुलभ और सुगम न्याय दिलाने के लिए बेंच दी गई, उसी प्रकार पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भी हाई कोर्ट बेंच की स्थापना तत्काल सुनिश्चित की जाए।
ज्ञापन देने में ये रहे शामिल
सचिव अजीत नागर, योगेंद्र भाटी, पूर्व अध्यक्ष श्याम सिंह भाटी, नीरज भाटी, महेश गुप्ता, जितेन्द्र भाटी, मांगे राम भाटी, सुंदर भाटी, यतेंद्र नागर, के.के. भाटी, हरीश बेसोया, विशाल नागर, पवन भाटी, अरुण नागर, गजेंद्र भाटी, इंसाद अली, सुशील यादव, धर्मवीर यादव, सुरेश यादव, रीना भाटी, मयंक शर्मा, गजेंद्र चौहान, युनुस, मुजम्मिल खां, सिंहराज, मोहित भाटी, अमित भाटी, सागर शर्मा, राहुल यादव, अयूब सैफी, देवराज नागर, मुकेश सैन, प्रिंस तोंगड़ समेत सैकड़ों अधिवक्ता उपस्थित रहे।
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