Tirthankar Mahavir University: वर्कशॉप ऑन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एंड क्रिएशन ऑफ़ चैटबोट एप्लीकेशन में छात्रों ने सीखा चैटबोट एप्लीकेशन बनाने का तरीक़ा

मुरादाबाद | तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी (Tirthankar Mahavir University) के कुलपति प्रो. वीके जैन ने कहा, आज का युग टेक्नोलॉजी का है। आईबीएम जैसी विश्व स्तरीय सॉफ्टवेयर कंपनी टीएमयू के स्टुडेंट्स को नए ट्रेंड और टेक्नोलॉजी से अपडेट कर रही हैं। हमारी यूनिवर्सिटी नई शिक्षा नीति- 2020 के क्रियान्वयन को बेहद संजीदा है। उन्होंने कहा, छात्रों को वैश्विक चुनौतियों का सामना करने के लिए किताबी ज्ञान के साथ-साथ प्रैक्टिकल नॉलेज भी बेहद आवश्यक है। कुलपति प्रो. जैन तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी के कॉलेज ऑफ कंप्यूटिंग साइंसेज़ एंड इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी- सीसीएसआईटी में आईबीएम डे तहत टेक्नोवेट इवेंट में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे। इससे पहले टीएमयू कुलपति ने बतौर मुख्य अतिथि, आईबीएम के डिलीवरी मैनेजर – श्री अर्पित जैन,टेक्निकल सॉल्यूशन आर्किटेक्टअमन बक्षी, एकेडमिक कॉर्डिनेटर – मिस खुशबू दतवानी, सीसीएसआईटी प्राचार्य प्रो. आरके द्विवेदी, वाइस प्रिंसिपल डॉ. एके सक्सेना, एचओडी डॉ. शम्भू भारद्वाज, आईबीएम कोऑर्डिनेटर, अमित सिंह आदि ने माँ सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्जवलित करके टेक्नोवेट इवेंट का शुभारम्भ किया। आईबीएम-डे टेक्नोक्रेट इवेंट में आईबीएम से आए सब्जेक्ट मैटर एक्सपर्ट की ओर से माइंड स्पॉट लेवल वन, वर्कशॉप ऑन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एंड क्रिएशन ऑफ़ चैटबोट एप्लीकेशन, माइंड स्पॉट लेवल टू एंड थ्री और प्रोजेक्ट प्रजेंटेशन सरीखे चार इवेंट कराए गए।

यह भी पढ़े : Kurukshetra Lok Sabha:हरियाणा में स्कूलों और शिक्षा की हालत बेहद खराब: डॉ. सुशील गुप्ता

इस प्रतियोगिता में बीटेक आईबीएम के प्रथम , द्वितीय , तृतीय एवम् चतुर्थ वर्ष के सौ से अधिक छात्रों ने भाग लिया।प्रोजेक्ट प्रेजेंटेशन में बीटेक आईबीएम फ़ाइनल ईयर की छात्रा आस्था जैन विजेता एवं थर्ड ईयर के छात्र देवांश मिश्रा उप विजेता रहे। माइंड स्पॉट प्रतियोगिता में बीटेक आईबीएम फ़र्स्ट ईयर के छात्र प्रणय कोचर एवम् वंशिका जैन संयुक्त रूप से विजेता रहे। वर्कशॉप ऑन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एंड क्रिएशन ऑफ़ चैटबोट एप्लीकेशन में सभी छात्रों को चैटबोट एप्लीकेशन बनाने का तरीक़ा सिखाया गया और सर्टिफ़िकेट प्रदान किए गए।आईबीएम एसएमई  अमन बक्षी ने आईबीएम की विकास यात्रा पर प्रकाश डालते हुए कहा, 1911 में स्थापित आईबीएम दुनिया भर की सॉफ्टवेयर इंडस्ट्री में अपनी सेवाएं दे रही है। उन्होंने बताया, आईबीएम बदले समय को देखते हुए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के साथ-साथ तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में भी काम कर रही है। प्राचार्य प्रो. द्विवेदी ने कहा, टीएमयू के साथ आईबीएम का कोलाब्रेशन गौरव की बात है। आईबीएम की ओर से छात्रों-छात्राओं को आधुनिक टेक्नोलॉजी से रूबरू कराने के लिए हर साल दो ट्रेनर्स यूनिवर्सिटी आते हैं। ये ट्रेनर्स टीएमयू स्टुडेंट्स को आधुनिक सॉफ्टवेयर्स की तकनीक को बारीकी से समझाते हैं। इस मौके पर सर्वप्रथम प्राचार्य प्रो. द्विवेदी ने कुलपति प्रो. वीके जैन का बुके देकर स्वागत किया। इसी क्रम में बाकी अतिथियों का भी बुके देकर वेलकम किया गया। इस मौके पर डॉ. सोनिया जयंत, डॉ. नीरजा, डॉ. रंजना,श्री मनीष तिवारी के अलावा आईबीएम की फैकल्टी श्री संदीप राणा,श्री आलोक शर्मा आदि मौजूद रहे।

यहां से शेयर करें