किसानों ने तहसील में धरना प्रदर्शन कर एसडीएम को सौंपा ज्ञापन 
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 किसानों ने तहसील में धरना प्रदर्शन कर एसडीएम को सौंपा ज्ञापन 

Firozabad/ Shikohabad news : आगरा लखनऊ एक्सप्रेस पर औद्योगिक गलियारे के लिए प्रशासन द्वारा भूमि अधिग्रहण को लेकर आल इण्डिया किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष कैलाश लोधी, संजय यादव तथा प्रदेश संगठन मंत्री आरएस राना के नेतृत्व में सैकड़ो किसानों ने तहसील का घिराव कर नारेबाजी की तथा तहसील में धरना दिया । किसानों के प्रदर्शन को लेकर शिकोहाबाद तथा नसीरपुर थानों की फोर्स भी मौजूद रही । वहीं किसानों ने एसडीएम को जमीन अधिग्रहण न करने के लिए एक ज्ञापन दिया।
           ऑल इंडिया किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष कैलाश लोधी ने कहा कि गांव धनपुरा, छरीछप्पर, नगला टीकाराम, ब्रह्माबाद लाछपुर, सुजावलपुर, नगला रामबक्स के ग्रामीणों की ओद्योगिक गलियारे के लिए भूमि अधिग्रहण की जा रही है । तहसील प्रशासन द्वारा जो सूची प्रदान की गई है , वह किसी भी प्रकार से जनहित में नहीं है। प्रशासन द्वारा चयनित भूमि कृषि की दृष्टि से बहुत उपजाऊ है, जिसमें किसान चार फसलें को उगाता है । जीवन यापन का एक मात्र सहारा कृषि भूमि है। अगर किसानों से भूमि अधिग्रहण कर ली जाती है तो इस क्षेत्र का किसान भूमिहीन हो जायेगे। किसान पिछले कुछ वर्षो से ऑर्गेनिक खेती भी कर रहे हैं। क्षेत्र की 99 फीसदी जनता का जीवन यापन पूर्ण रूप से कृषि तथा पशुपालन पर ही निर्भर है इसके अलावा
आमदनी का कोई और संसाधन नहीं है। परिवारों के विस्तार के साथ ही गाँव की आवादी क्षेत्र का विस्तार हुआ है जिसके फल स्वरूप खेतों में निजी निवास स्थान पशुओं को रखने की व्यवस्था कर ली गई है।
Firozabad/ Shikohabad news
औद्योगिक गलियारे के लिए बंजर भूमि का चयन किया जाए : किसान नेता  _
         किसान नेताओं ने कहा कि किसान अपनी उपजाऊ भूमि के अधिग्रहण के बिल्कुल भी पक्ष में नहीं हैं। अगर किसानों की जमीन को अधिग्रहण कर लिया तो किसानों के पास आत्मदाह के अलावा कोई और विकल्प नहीं होगा। औद्योगिक गलियारे के लिए बंजर भूमि का चयन किया जाए, जिससे किसानों की उपजाऊ भूमि बची रहे। इस दौरान संजय कुमार यादव, रामदास यादव, अनूप, राजपाल, अभिषेक, रितिक यादव, संगीता, गीतादेवी, दुलारी देवी, रजनी देवी, मनोरमा देवी,ज्योतिसना, राधा, नीलेश देवी, रमादेवी, मजूदेवी, राजकुमार, नीलम, रामदयाल, रक्षपाल,  लखपति सिंह, रामगोपाल, रामसनेही लाल, रामप्रकाश, महेश चन्द्र सहित काफी संख्या में किसान मौजूद थे।
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