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लोकसभा चुनाव-2019 आने को हैं। बीजेपी एक बार फिर पुराने मुद्दों पर लौटती दिख रही है। राम मंदिर, कश्मीर और पाक। कश्मीर में महबूबा सरकार को गिरा कर बीजेपी सरकार ने पाकिस्तान पर निशाना साध दिया है। साथ ही यूपी सीएम योगी ने भी अयोध्या पहुंच कर राम मंदिर मुद्दे को एक बार फिर गरमा दिया है। यहां उन्होंने राम मंदिर के साथ-साथ फिर से हिंदू-मुस्लिम मुद्दे को भी हवा देने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि एएमयू और जामिया में भी दलितों के लिए आरक्षण हो। यहां उन्होंने एक तीर से दो शिकार किए। दलितों का पक्ष लेने की कोशिश की तो एक बार फिर यूनिवर्सिटियों के खिलाफ अपनी मंशा जाहिर कर दी।
उनकी सक्रियता के चलते ही राम जन्मभूमि न्यास के वरिष्ठ सदस्य डॉ. रामविलास दास वेदांती ने सोमवार को राम मंदिर मामले पर बड़ा बयान दिया। वेदांती ने दावा किया कि 2019 के पहले कभी भी राम मंदिर का निर्माण शुरू हो सकता है। वेदांती ने कहा कि जिस तरीके से अचानक विवादित ढांचा ध्वस्त किया गया, उसी तरीके से रातों-रात मंदिर निर्माण भी शुरू हो सकता है। उन्होंने साफ तौर पर यह संदेश देने की कोशिश की कि मस्जिद तोडऩे के लिए कोई परमिशन नहीं ली गई थी। उसी तरह मंदिर बनवाने के लिए किसी परमिशन की जरुरत नहीं है। जाहिर है वेदांती की बात के मायने से अंदाजा लगाया जा सकता है कि चुनावों के चलते देश की राजनीति क्या करवट लेने वाली है। देखने वाली बात यह होगी कि क्या इस बार भी देश की जनता इससे प्रभावित होगी या फिर इस बार यह मुद्दा धराशायी हो जाएगा।

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