बिगड़ी कानून-व्यवस्था पर जताई गई चिंता
सीएम ने डीजीपी को तलबकर जताई नाराजगी
लखनऊ। हमीरपुर में कंस मेले की शोभा यात्रा के दौरान हुए उपद्रव की घटना को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बेहद गंभीरता से लिया है। मुख्यमंत्री ने मंगलवार रात डीजीपी ओपी सिंह को तलब कर घटना की जानकारी ली और कहा कि किसी भी हालत में कानून-व्यवस्था न बिगडऩे पाये। प्रदेश में हुई अन्य बड़ी घटनाओं को लेकर भी मुख्यमंत्री ने नाराजगी जताई।
डीजीपी ओपी सिंह ने हमीरपुर में शोभा यात्रा के दौरान हुए पथराव की घटना की जानकारी मिलने के बाद एडीजी इलाहाबाद जोन एसएन साबत को हमीरपुर में कैंप करने व उपद्रवियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई किये जाने का निर्देश दिया है। डीजीपी के अनुसार शोभा यात्रा को कुछ लोग गैर परंपरागत मार्ग से निकालने का प्रयास कर रहे थे। पुलिस ने उन्हें रोक दिया था। इसी बात को लेकर कुछ उपद्रवियों ने पुलिस पर पथराव शुरू कर दिया, जिससे स्थिति बिगड़ी। घटना में एएसपी, सीओ व दो एसओ घायल हुये हैं।
डीजीपी का कहना है कि स्थिति पर नियंत्रण पा लिया गया है। उल्लेखनीय है कि बीते दिनों प्रदेश में कई दुस्साहसिक घटनाएं हुई हैं। प्रतापगढ़ व इलाहाबाद में लगातार संगीन वारदात हो रही हैं। मंगलवार को इलाहाबाद में दिनदहाड़े 22 लाख की लूट की घटना हुई। बांदा में टाइल्स व्यवसायी का अपहरण, प्रतापगढ़ में दोहरा हत्याकांड, बरेली में मोहर्रम जुलूस के दौरान हुए उपद्रव की घटनाएं कानून-व्यवस्था को लेकर सवाल खड़ी कर रही हैं।
बीते दिनों इलाहाबाद में रिटायर दारोगा की पीटकर हत्या किये जाने व इस वारदात की सीसीटीवी फुटेज सामने आने के बाद भी पुलिस के गिरते इकबाल को लेकर कई सवाल खड़े हुये थे। खासकर लूट की बड़ी घटनाएं लगातार पुलिस के लिए बड़ी चुनौती साबित हो रही हैं। इलाहाबाद में करीब एक माह पूर्व एक परिवार के चार लोगों की हत्या कर लूटपाट की घटना का राजफाश भी अब तक पुलिस नहीं कर सकी है।
डीजीपी ने मंगलवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग कर अधीनस्थ अधिकारियों व सभी एसएसपी/एसपी से लंबित घटनाओं का राजफाश न होने पर नाराजगी जताते हुए जल्द राजफाश किये जाने का निर्देश दिया। डीजीपी ने कहा कि मानीटरिंग सेल के प्रभावी ढंग से काम करे और जघन्य अपराधों में कड़ी पैरवी की जाये। ऐसे मामलों में जिनमें कुख्यात अपराधियों के खिलाफ पुलिस अथवा सरकारी कर्मचारी गवाह हैं।
उनमें लगातार पैरवी कर अपराधियों को सजा दिलाई जाये। बताया गया कि कई ऐसे जघन्य मामले हैं, जिनमें खुद पुलिसकर्मी गवाह हैं, लेकिन आरोपित बदमाशों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो पा रही है। इसके अलावा वांछित अपराधियों की गिरफ्तारी व शस्त्र की दुकानों का नियमित निरीक्षण किये जाने का निर्देश भी दिया।
इससे पहले एसएसपी अलीगढ़ अजय साहनी भी डीजीपी मुख्यालय में दिखाई दिए। समझा जा रहा है कि उन्होंने अलीगढ़ में हुई मुठभेड़ के मामले में डीजीपी को विस्तार से जानकारी दी। उल्लेखनीय है कि अलीगढ़ में दो बदमाश मारे गए थे, जिसका वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस की बड़ी किरकिरी हुई थी।