वर्ल्ड किडनी डेः जेपी अस्पताल ने 1000 ट्रांसप्लांट कर स्थापित किया रिकॉर्ड, जाने किडनी को कैसे रखें स्वस्थ

वर्ल्ड किडनी डे पर आज देशभर में किडनी को स्वस्थ रखने को लेकर जागरूकता फैलाई जा रही है। इस सबके बीच आज सेक्टर 128 स्थित जेपी अस्पताल ने किडनी टसप्लांट के मामले में अपनी सफलता बताई। इस दौरान अस्पताल के यूरोलॉजी एवं किडनी ट्रांसप्लांट डिपार्टमेंट के डायरेक्टर एवं कऑर्डिनेटर अमित देवड़ा ने बताया कि भारत में हर साल 12000 से अधिक किडनी ट्रांसप्लांट हो रहे हैं। खराब जीवन शैली के चलते ज्यादातर लोगों को किडनी की समस्या से जूझना पड़ रहा है। मरीज को अब किडनी ट्रांसप्लांट के लिए अधिक परेशान होने की जरूरत नहीं, क्योंकि जेपी अस्पताल में किडनी ट्रांसप्लांट हाईटेक तरीके से हो रहा है। इस पद्धति द्वारा डोनर की किडनी को दूरबीन द्वारा शरीर से निकाला जाता है। जिसका सबसे अधिक लाभ यह होता है कि डोनर को बहुत ही कम दर्द होता है साथ ही कम समय के लिए अस्पताल में भर्ती रहना पड़ेगा।

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सक्सेस रेट बहुत बहतरीन
वहीं डिपार्मेंट आफ नेफ्रोलॉजी एवं किडनी ट्रांसप्लांट के डायरेक्टर डॉ अनिल प्रसाद भट्ट ने कहा कि जेपी अस्पताल के लिए 1000 से अधिक किडनी ट्रांसप्लांट करना एक बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि तीन से पांच साल के बीच का सक्सेस रेट 97 फीसदी है। वैसे तो लोग 25 साल तक किडनी ट्रांसप्लांट करने के बाद स्वस्थ रहते हैं लेकिन उसके लिए कुछ उपाय करना बेहद जरूरी है। जैसे की दवाइयां समय पर खाना, ताजा खाना और अपने आसपास सफाई रखना सबसे महत्वपूर्ण है। उन्होंने बताया किडनी खराब होने के कई कारण हो सकते हैं।

इसलिए खराब होती है किडनी

डा विजय कुमार सिन्हा ने बताया कि किडनी खराब होने के बहुत कारण हो सकते है लेकिन सबसे बड़ा कारण है किसी भी व्यक्ति की दिनचर्या। नसे खराब हो जाती है या फिर किसी व्यक्ति के पत्थरी होती है तो उस कारण भी किडनी पर सीधे असर पड़ता है। डाक्टर ने बताया कि कई बार एक ही मरीज का दो तीन बार ट्रांसप्लांट किया जाता है। बच्चों में अधिक जंकफूड खाने से कई बीमारियां हो जाती है जिसके चलते भी किडनी खराब होने का डर रहता है।

 

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किडनी को कैसे रखे स्वस्थय
डाक्टर अमित देवड़ा बताते है कि किडनी को स्वस्थय रखने के लिए कई तरीके है। दिन में 8 से 10 ग्लास पानी का सेवन भी किडनी के लिए बहेतर रहता है। इसके अलावा यदि आप कोई पैनकिलर दवां का उपयोग कम से कम करें या फिर डाक्टर की सलाह पर ही करें। वजन बढना भी किडनी पर असर डालता है। डायबिटीज होने के कारण भी किडनी पर असर पड़ता है। यूरिन टेस्ट भी समय समय पर कराना चाहिए ताकि पता चल जाएं कि कोई बीमारी तो नही है।

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