IAS Mohinder Singh Story: यूपी कैडर के एक रिटायर्ड आईएएस अधिकारी के घर हीरे का भंडार मिला है। यह खुलासा तब हुआ है, जब ईडी ने उनकी कोठी पर छापेमारी की। इससे ये भी पता चलता है कि नोएडा प्राधिकरण भ्रष्टाचार की खान बना गई थी। इससे पहले भी कई मामले खुल चुके है। दरअसल, मोहिन्दर सिंह सीईओ के पद पर तैनात थे। आइए जानते हैं कौन हैं ये पूर्व आईएएस अधिकारी जिन्होंने आईएएस की नौकरी में रहते अकूत दौलत बनाई।
क्या है पूरा मामला
दरअसल लोटस 300 प्रोजेक्ट मामले में ईडी ने देश भर में कई जगहों पर छापेमारी की। यह 300 करोड़ का घोटाला था। ईडी ने इस मामले में दिल्ली के अलावा नोएडा, मेरठ और चंडीगढ़ में छापे मारी की। इसी दौरान नोएडा प्राधिकरण के पूर्व सीईओ रिटायर्ड आईएएस मोहिंदर सिंह के चंडीगढ़ स्थित कोठी पर भी ईडी ने छापेमारी की। ईडी के अधिकारी तक चैंक गए, जब रिटायर्ड आईएएस मोहिन्दर सिंह के घर में हीरों का भंडार मिला। इनकी कीमत लगभग 7 करोड़ रुपये बताई जा रही है।
कौन है मोहिन्दर सिंह
जिस रिटायर्ड आईएएस अधिकारी मोनिंदर सिंह के घर ईडी का छापा पड़ा है। वह उत्तर प्रदेश कैडर के आईएएस अधिकारी हैं। उन्होंने 1977 में यूपीएससी परीक्षा पास की और 1978 बैच के आईएएस अधिकारी बने। वह 31 जुलाई 2012 में रिटायर हो गए। रिटारमेंट से पहले मोहिन्दरं सिंह की गिनती उत्तर प्रदेश के ताकतवर अफसरों में की जाती थी। मायावती शासन में उनकी तू-ती बोलती थी। यही कारण था कि उन्हें एक समय में नोएडा प्राधिकरण का सीईओ बनाया गया था। इसके अलावा वह तीनों विकास प्राधिकरणों के भी चेयरमैन रहे थे। मोनिंदर सिंह का नाम सुपरटेक और आम्रपाली बिल्डर घोटाले मामले में सामने आया था। सुपरटेक के विवादित ट्विन टावर मामले में नोएडा प्राधिकरण के 11 अधिकारियों को दोषी पाया गया था। जिसमें मोनिंदर सिंह का भी नाम था।
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