इंटीरियर डिजाइनर की हत्याकांड में दो और वांछित पकड़े
ghaziabad news जिले में 16 अगस्त से लापता इंटीरियर डिजाइनर की हत्या के मामले में पुलिस ने शुक्रवार को दो अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया। पुलिस मामले में एक महिला समेत सात आरोपियों को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है।
दरअसल, 16 अगस्त को राजनगर एक्सटेंशन से इंटीरियर डिजाइनर तरुण पवार लापता हो गया था। उसके घर वालों ने थाना नंदग्राम में उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जांच के दौरान पुलिस को तरुण के फोन का अंतिम लोकेशन गाजियाबाद के गोविंदपुरम इलाके के आसपास मिला। उसकी गाड़ी गोविंदपुरम में खड़ी मिली थी। पुलिस ने सीसीटीवी कैमरों को खंगाला तो आरोपियों का पता चल गया। इस पूरी घटना में नौ लोग शामिल थे। इस घटना में 24 अगस्त को तीन अभियुक्तों (दो पुरुष और एक महिला) को गिरफ्तार किया गया था। आरोपी अंकुर को 27 अगस्त को और जितेन्द्र उर्फ जीते को 28 अगस्त को गिरफ्तार किया गया था। आरोपी मनोज को पुलिस ने को 29 अगस्त को और अक्षय को 30 अगस्त को गिरफ्तार किया था।
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पुलिस पूछताछ में अक्षय ने बताया है कि अंजली उसकी साली है, जो उसकी पत्नी नेहा की बड़ी बहन है। अंजली अपने पति वैभव से अलग रह रही थी। उसने अंजली को आॅरा कायमेरा सोसायटी में एक फ्लैट लोन पर लेकर दे रखा था, जिसमें अक्षय ने छह लाख और अंजली ने चार लाख रुपये दिये थे, बाकी लोन था जो अक्षय के खाते से जा रहा था। अक्षय के मुताबिक अंजली की दोस्ती मेंटेनेंस में काम करने वाले पवन से भी थी और उसका संबंध तरुण पवार से भी था। अक्षय ने बताया कि पवन के कहने पर उसने अंजली को डांटा था लेकिन वरुण उस पर दबाव बना रहा था। इसके बाद पवन ने अपने गांव के वंश, अंकुर, जीते, दीपांशु और अमित के साथ मिलकर योजना बनायी और मनोज का कमरा मोरटा में किराये पर लेकर उसको भी योजना में शामिल कर लिया था। पवन, वंश, अंकुर, दीपांशु, अंकित, जीते के साथ मिलकर 16 अगस्त को उसने तरुण को ग्राम मोरटा में बुलाकर मारपीट की और रस्सी से गला घोंटकर हत्या कर दी। इस योजना में अक्षय, अंजली और मनोज भी शामिल थे।
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