AIIMS Delhi News: अगर आप किसी डाक्टर को दिखाने या कोई टेस्ट करने के लिए एम्स जा रहे है तो आज आपको परेशानी उठानी पड़ सकती है। दरअसल, अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के गेट पर हटाए गए संविदा कर्मचारियों ने अस्पताल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी करते हुए आक्रोश जताया।
56 संविदा कर्मचारी हटाए
बता दें कि एम्स से हटाए गए करीब 56 संविदा कर्मचारियों ने गेट पर जोरदार प्रदर्शन किया। वहीं प्रशासनिक अधिकारियों ने एम्स चैकी प्रभारी को अस्पताल परिसर में शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए लेटर दिया है। संविदा कर्मचारियों का कहना है कि संस्थान प्रशासन उन्हें मानसिक उत्पीड़न का शिकार बना रहा है। शांतिपूर्वक तरीके से निदेशक कार्यालय के बाहर खड़े होकर संस्थान की ओर से लिए जाने वाले निर्णय का इंतजार कर रहे थे लेकिन उन्हें झूठे आरोपों में फंसाया जा रहा है।
उनका कहना है कि वे अस्पताल परिसर में नहीं, बल्कि शिक्षा संस्थान के भीतर स्थित निदेशक कार्यालय के बाहर निर्णय की प्रतीक्षा कर रहे थे। पुलिस और सुरक्षाकर्मी समय-समय पर उनका फोटो खींच रहे थे और सीसीटीवी कैमरों के माध्यम से उनकी गतिविधियों की निगरानी की जा रही थी।
कर्मचारियों ने लगाए आरोप
इस दौरान कर्मचारियों ने आरोप लगाए कि उन्हें गेट नंबर 3 से एंट्री नहीं दी गई और उन्हें गेट नंबर 2 पर एकत्रित होने के लिए बाध्य किया गया है। यह पूरी स्थिति केवल वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों की ओर से माहौल खराब करने और उन्हें गलत तरीके से फंसाने के लिए बनाई जा रही है। इस दौरान प्रदर्शन करने वालों में मुख्य रूप से अनुराग पंत, दीपक बिष्ट, त्रिलोक सिंह खरोला, अश्विनी कुमार, रमेश, लोकेंद्र सिंह, लोकेंद्र बिष्ट, कंचन, नीलम, दानिश आदि शामिल थे।
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