शहर की बहुमंजिला इमारतों में भूकंप या भीषण अग्निकांड के समय बड़े हादसे की आशंका
Ghaziabad news : शहर की अधिकांश बहुमंजिला इमारतों में भूकंप या भीषण अग्निकांड के समय बड़े हादसे की आशंका रहती है, क्योंकि अग्निशमन विभाग के पास इन इमारतों के ऊपरी हिस्से तक पहुंचने के पर्याप्त संसाधन नहीं है और न ही बचाव कार्य के कोई खास इंतजाम हैं।
शहर में करीब 350 बहुमंजिला इमारत हैं। इनमें लाखों की आबादी रहती है। इनमें बड़ी संख्या में ऐसे टावर हैं, जो 28 से 30 मंजिल तक बने हैं। इन गगनचुंबी इमारतों में अग्निकांड होने की स्थिति में आग बुझाने और लोगों को बचाने के लिए अग्निशमन विभाग के पास भी पुख्ता इंतजाम नहीं हैं। वर्तमान में विभाग के पास 42 मीटर ऊंचा एक हाइड्रोलिक प्लेटफार्म है, जिससे करीब 15 मंजिल तक की इमारतों में लगी आग को बुझाया जा सकता है। इससे ऊपर बने फ्लैटों में अग्निकांड होने की स्थिति में लोगों की जान जोखिम में पड़ सकती है। आग बुझाने के लिए विभाग के अग्निशमन विभाग को पड़ोसी जिले गौतमबुद्ध नगर अथवा दिल्ली की ओर मुंह देखना पड़ सकता है। ऐसी स्थिति में जान-माल के ज्यादा नुकसान होने की आशंका रहती है। एक हाइड्रोलिक प्लेटफार्म के अलावा इतनी आबादी वाले इस जिले में 12-12 हजार लीटर क्षमता वाले मात्र दो ही वाटर ब्राउजर हैं।
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शहर में करीब 350 बहुमंजिलें इमारत हैं
विकास एजेंसियों के मुताबिक शहर के विभिन्न हिस्सों में करीब 350 बहुमंजिले इमारत है। इनमे कई इमारतें 15 मंजिल से 30 मंजिल तक बनी हुई है। यह इमारतें शहर के अलावा साहिबाबाद, इंदिरापुरम, वैशाली, वसुंधरा, विजयनगर, राज नगर एक्सटेंशन और राष्ट्रीय राजमार्ग-09 पर स्थित हैं। इन सभी में सघन आबादी है। इसके अतिरिक्त 40 के करीब हाईराइज दफ्तर भी हैं।
सघन बाजारों में दमकल की गाड़ियों के पहुंचने का रास्ता भी सकरा
जिले में कई ऐसे बाजार हैं जो बहुत पुराने हैं। आबादी के बढ़ने के साथ इन बाजारों का फैलाव हो गया लेकिन बाजारों में आने-जाने के रास्ते सकरे रह गए। इन बाजारों में घंटाघर, चौपला बाजार, तुराब नगर, दिल्ली गेट, गोल मार्केट, किराना मंडी, शहीद नगर एवं लोनी के कई बाजार शामिल है, जहां अग्निकांड के समय सघन बाजारों में दमकल की गाड़ियों का पहुंचना मुश्किल हो जाता है। अत्यधिक भीड़ होने के कारण दमकल कर्मियों को घटनास्थल पर पहुंचने एवं आग पर काबू पाने में काफी मशक्कत करनी पड़ती है। सकरी गलियों के बाजारों में दमकल की गाड़ियों को घटनास्थल से दूर खड़ा करना पड़ता है। वहां से पाइप के जरिए आग बुझाया जाता है।
क्या कहते हैं मुख्य अग्निशमन अधिकारी
मुख्य अग्निशमन अधिकारी राहुल पाल का कहना है कि अग्निशमन विभाग के पास करीब 15 मंजिल तक आग बुझाने के लिए 42 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक प्लेटफार्म एवं उच्च क्षमता वाले दो वाटर ब्राउजर उपलब्ध हैं। इसके अलावा दो फॉम टेंडर, आठ फायर टैंकर के साथ प्रशिक्षित अग्निशमन दस्ता है जो किसी भी आपात स्थिति में आग बुझाने एवं बचाव कार्य के लिए सक्षम है।
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