सपा मुखिया अखिलेश यादव की मस्जिद में मीटिंग पर बवाल, क्या धार्मिक स्थल बन रहे राजनीतिक अखाड़ा!

Samajwadi party in Masjid News: दिल्ली के संसद भवन वाली मस्जिद में मीटिंग होने पर बवाल मच गया है। हालांकि मंदिरों में भी राजनीतिक कार्यक्रम होते आए है। ऐसा लगने लगा है कि धार्मिक स्थल राजनीतिक अखाड़ा बन रहे है। मस्जिद में सपा प्रमुख अखिलेश यादव की कथित बैठक को लेकर राजनीतिक विवाद गहराता जा रहा है। इस पर अब भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा और उत्तराखंड वक्फ बोर्ड ने इस मामले पर तीखी आपत्ति जताई है। मस्जिद को राजनीति का मंच बनाए जाने को लेकर न सिर्फ धार्मिक भावनाएं आहत होने की बात कही जा रही है, बल्कि सियासी मर्यादाओं को भी तार-तार करने का आरोप लग रहा है। बताया जा रहा है कि मस्जिद के इमाम मोहिबुल्लाह नदवी नेताओं को लेकर गए थे। अब मस्जिद के इमाम मोहिबुल्लाह नदवी रामपुर से खुद सांसद है।
भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष बोले
भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जमाल सिद्दीकी ने इस मामले को लेकर सख्त रुख अख्तयार किया है। उन्होंने कहा कि संसद मार्ग पर मौजूद एक मस्जिद में सपा की बैठक ने धार्मिक मर्यादाओं का उल्लंघन किया है।
अखिलेश यादव और डिंपल यादव पर लगाएं गंभीर आरोप
उनका आरोप है कि अखिलेश यादव और डिंपल यादव ने मस्जिद को राजनीतिक गतिविधि के लिए इस्तेमाल कर मुस्लिम समाज की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है। सिद्दीकी ने मस्जिद के इमाम मोहिबुल्लाह नदवी पर भी सवाल उठाए, जो खुद समाजवादी पार्टी से जुड़े हुए हैं। उन्होंने डिंपल यादव के बैठने के तरीके को इस्लामिक परंपराओं के खिलाफ बताते हुए मांग की कि दोनों नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज हो और कानूनी कार्रवाई की जाए।
जमाल सिद्दीकी ने कहा कि अगर कोई और नेता ऐसा करता तो अब तक बड़ा राजनीतिक तूफान खड़ा हो गया होता। उन्होंने तंज कसते हुए पूछा कि खुद को मुसलमानों का रहनुमा कहने वाले असदुद्दीन ओवैसी अब इस मामले में चुप क्यों हैं? भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा ने ऐलान किया है कि 25 जुलाई को नमाज के बाद एक बैठक की जाएगी, जिसकी शुरुआत राष्ट्रगीत से और समापन राष्ट्रगान से किया जाएगा, ताकि यह संदेश जाए कि धार्मिक स्थलों का राजनीतिक इस्तेमाल अब और बर्दाश्त नहीं होगा।

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