- ‘एक बैग की वजह से मारे गए 18 लोग’
- जांच रिपोर्ट में सामने आई भीड़ और भारी सामान की समस्या
- रेलवे का ऐलान: देश के 73 स्टेशनों पर नए सुरक्षा उपाय लागू
Stampede Incident: नई दिल्ली। प्रयागराज महाकुंभ के दौरान नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुई भगदड़ को लेकर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने संसद में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 15 फरवरी की रात प्लैटफॉर्म 14-15 को जोड़ने वाली सीढ़ी पर एक यात्री के सिर से भारी बैग गिरा, जिससे अचानक दबाव बढ़ा और लोग गिरने लगे। यह घटना फुटओवर ब्रिज नंबर-3 पर हुई, जिसमें 18 लोगों की मौत हुई, जिनमें 4 बच्चे और 11 महिलाएं शामिल थीं। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार सभी की मौत दम घुटने (ट्रॉमैटिक एस्फिक्सिया) से हुई।
Stampede Incident:
जांच समिति ने पाया कि भीड़ नियंत्रण के पर्याप्त इंतजाम थे, लेकिन रात 8:15 बजे के बाद फुटओवर ब्रिज पर यात्रियों की संख्या तेजी से बढ़ गई। कई लोगों के सिर पर भारी सामान था, जिससे 25 फुट चौड़े ब्रिज पर आवाजाही बाधित हो रही थी। रेलवे रिकॉर्ड्स के मुताबिक शाम 6 बजे से ही 1500 प्रति घंटे के हिसाब से 7600 अनारक्षित टिकट बेचे गए थे।
मुंबई के बाद सबसे बड़ा हादसा
यह घटना मुंबई के 2017 एलफिंस्टन रोड भगदड़ कांड के बाद सबसे बड़ा हादसा मानी जा रही है, जिसमें 23 लोगों की मौत हुई थी। फरवरी में हुई इस घटना के बाद सरकार की आलोचना हुई और भीड़ नियंत्रण उपायों पर सवाल उठे।
73 स्टेशनों पर भीड़ प्रबंधन के नए कदम
रेल मंत्री ने बताया कि ऐसी घटनाओं से बचाव के लिए 73 बड़े स्टेशनों पर भीड़ प्रबंधन उपाय लागू किए जाएंगे। इसके तहत:
• स्टेशनों के बाहर स्थायी होल्डिंग एरिया बनाए जाएंगे।
• पायलट प्रोजेक्ट नई दिल्ली, आनंद विहार, वाराणसी, अयोध्या और गाजियाबाद में चल रहे हैं।
• यात्रियों को प्लेटफॉर्म पर तभी जाने दिया जाएगा जब ट्रेन आएगी।
• कंफर्म टिकट वालों को सीधा प्रवेश, अनारक्षित और बिना टिकट वालों के लिए अलग क्षेत्र।
• अवैध रास्तों को बंद कर चौड़े फुटओवर ब्रिज बनाए जाएंगे।

