उत्तर प्रदेश में कई नियम बदल चुके है या बदलने वाले है। रजिस्ट्री के लिए भी भागदौड़ नहीं करनी होगी। प्रदेश सरकार ने प्रोपर्टी की बिक्री और खरीद के लिए ई-रजिस्ट्रेशन को लागू कर दिया है। इसके लिए जरूरी प्रक्रिया शुरू हो गई है और जल्द ही ये सुविधा लोगों को मिलेगी। यूपी इसे लागू करने वाला देश का दूसरा राज्य बन गया है। वहीं अब यूपी में संपत्ति का बंटवारा भी सिर्फ पांच हजार रुपये में हो सकेगा। स्टाम्प शुल्क घटाने के फैसले से संपत्ति के विवादों में कमी आने की उम्मीद है।
यह भी पढ़ें: UP Encounter: मुख्तार अंसारी का शार्प शूटर पंकज यादव मुठभेड़ में ढेर…
रजिस्ट्री के लिए हाथ में फाइल नहीं मोबाइल
यूपी में रजिस्ट्री के लिए हाथ में फाइल नहीं मोबाइल और सॉफ्ट कॉपी में कागजात होना भी काफी होगा। यूपी सरकार ने संपत्ति की खरीद और बिक्री के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्री करने की व्यवस्था लागू करने का फैसला किया है। ऑनलाइन आवेदन करने पर रजिस्ट्री के लिए स्टाम्प फीस भी आॅनलाइन जमा होगी। ई-मेल से आवंटी तक डीड पहुंचेगी। पूरी प्रक्रिया और उसकी जांच डिजिटली हो सकेगी। हालांकि रजिस्ट्रेशन ऑफिस टाइमिंग में ही होगा। इस फैसले के साथ ही यूपी ई-रजिस्ट्री वाला देश का दूसरा राज्य होगा। अभी तक ई-रजिस्ट्री की सुविधा सिर्फ महाराष्ट्र में ही थी। इससे रजिस्ट्रेशन कार्यालय में भीड़ का दबाव भी कम होगा। इसकी प्रक्रिया सबसे पहले सरकारी विभागों से शुरू की गई है। प्रदेश के सभी प्राधिकरणों और निगमों में ये व्यवस्था होगी। इसके तहत रजिस्ट्री के लिए आवेदन ऑनलाइन होगा। सरकारी विभागों में जमीनों का रजिस्ट्रेशन बड़े पैमाने कर होता है।