Noida News: नोएडा। गौतमबुद्ध नगर में जमीन और फ्लैट की खरीद-बिक्री सबसे ज्यादा होती है। इस दौरान आयकर विभाग के नियमों को भी ताक पर रख दिया जाता है। आयकर विभाग के अनुसार, जिले में 50 लाख रुपये से अधिक कीमत वाली संपत्तियां लोग तेजी से खरीद रहे हैं, लेकिन टैक्स जमा नहीं कर रहे हैं। जिले में वित्तीय वर्ष 2020 के बाद 50 लाख रुपये से ज्यादा की संपत्ति और जमीन खरीदने वाले 12 हजार लोगों को चिह्नित कर आयकर विभाग ने कार्रवाई शुरू कर दी है।
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जिला रजिस्ट्रार कार्यालय से मिले डेटा के बाद इन चिह्नित लोगों को नोटिस जारी किए गए हैं। दरअसल, 50 लाख रुपये से अधिक की संपत्ति खरीदने पर खरीदार की जिम्मेदारी है कि वह विक्रेता को भुगतान करते समय एक प्रतिशत की दर से टीडीएस काटकर फॉर्म 26 क्यूबी के माध्यम से विभाग में जमा करे। इसी तरह संपत्ति बेचने वाले को अगर क्रेता ने पैन गलत दिया है या आधार से लिंक नहीं है तो वो 20 प्रतिशत की दर से टीडीएस काटेगा और जमा करेगा। जिले में जिन 12 हजार लोगों को नोटिस भेजा गया है, उसमें बिल्डरों के अलावा ग्रेटर नोएडा के फ्लैट खरीदारों की संख्या भी अच्छी खासी है।
आयकर विभाग के अधिकारियों ने बताया कि अब वित्त से जुड़े कुछ सरकारी कार्यालयों को भी आयकर विभाग से सूचनाएं साझा करनी होती हैं। वित्तीय वर्ष 2020-21, 2021-22, 2022-23, 2023-24 के लिए रजिस्ट्रार कार्यालय ने वार्षिक सूचना सारांश आयकर विभाग से साझा किया था। आयकर विभाग की जांच में पता चला कि गौतमबुद्ध नगर जिले के 12 हजार लोगों ने 50 लाख रुपये से अधिक की संपत्ति इन वित्तीय वर्षों में खरीदी, लेकिन एक फीसदी टीडीएस जमा नहीं किया। आयकर विभाग के कानपुर रीजन में शामिल जिला गौतमबुद्धनगर के इन लोगों को नोटिस भेज दिया गया है। नोटिस में 31 मार्च से पहले एक प्रतिशत टीडीएस जमा कराने को कहा गया है।