Noida Authority निवेश को जमीनी स्तर पर उतारने में फेल, “कही भ्रष्टाचार वजह तो नही”
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Noida Authority निवेश को जमीनी स्तर पर उतारने में फेल, “कही भ्रष्टाचार वजह तो नही”

यूपी के औद्योगिक विकास मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी ने नोएडा प्राधिकरण (Noida Authority) को जमकर फटकार लगाई हैं सूत्रों के अनुसार ऐसा इसलिए हुआ क्योकि प्राधिकरण निवेश को जमीनी स्तर पर उतारने में विफल हुआ है। लखनऊ के पिकप भवन सभागार में नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण के विकास कार्यों एवं उद्योगों को स्थापित करने के लिए किए जा रहे कार्यों की समीक्षा के दौरान ऐसा हुआ है। लक्ष्य में फेल होने पर कहा कि नोएडा यूपी का शोविंडो है, इसलिए लक्ष्यपूर्ति में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने कहा कि पिछली सरकारों के मुख्यमंत्री जहां अपनी कुर्सी जाने के डर से नोएडा आने में घबराते थे, वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath ) 6 वर्ष के कार्यकाल में नोएडा में प्रवास भी कर चुके हैं। बावजूद इसके निवेश को जमीनी स्तर पर नही उतारा जा सका है। माना जा रहा है कि ऐसा इसलिए हो रहा है भ्रष्टाचार का बोलबाला है।

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नन्दी ने कहा कि प्रस्तावित भूमि पूजन समारोह के लिए 90 हजार करोड़ के लक्ष्य के सापेक्ष केवल 53,875 करोड़ के ही निवेश तैयार हैं जो लक्ष्य का मात्र 60 फीसदी हैं। अफसरों से सवाल किया कि निर्धारित लक्ष्य की प्राप्ति क्यों नहीं की जा सकी जिसका वे जवाब नहीं दे सके। मंत्री ने अधिकारियों से पूछा कि वर्तमान में विभिन्न श्रेणियों में कुल 319 एकड़ भूमि आवंटन के लिए खाली है। सबसे ज्यादा 222 एकड़ वाली जगह उपयोग की भूमि आवंटन के लिए उपलब्ध है। रिक्त भूखंडों की आवंटन की क्या कार्य योजना है। भूमि का आवंटन कब तक कर दिया जाएगा। इस पर भी कोई जवाब नहीं मिला।

ये भी पूछे गए सवाल
नोएडा सेक्टर 135 एवं 14ए में बने स्थायी गोवंश आश्रय स्थलों की क्षमता पूछी। यहां अभी 1550 गोवंश हैं। गोवंश आश्रय स्थलों में भूसा चारा पानी व सफाई की पर्याप्त व्यवस्था के निर्देश दिए। नंदी ने कहा कि सीएजी द्वारा अप्रैल 2018 से दिसंबर 2022 तक के कार्यों के कंप्लायंस ऑडिट में कुल 65 आपत्तियां जारी की गई थी, जिसमें से मात्र 28 का ही जवाब अभी तक भेजा गया है। शेष 37 आपत्तियों का जवाब क्यों नहीं भेजा गया। शीघ्र ही इनका जवाब भेजा जाए एवं सभी 65 ऑडिट आपत्तियों को ड्रॉप कराया जाए। यदि आपत्ति ड्रॉप नहीं होती है तो इन आपत्तियों के उल्लेखित वित्तीय प्रशासनिक अनियमितताओं के लिए दोषी अधिकारियों, कर्मचारियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाए। बैठक में आईआईडीसी मनोज कुमार सिंह (IIDC Manoj Kumar Singh), अपर मुख्य सचिव औद्योगिक विकास अनिल सागर (Additional Chief Secretary Industrial Development Anil Sagar), नोएडा प्राधिकरण सीईओ लोकेश एम (Noida Authority CEO Lokesh M) व अन्य अफसर मौजूद रहे।

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