-
दलित प्रेरणा स्थल से किसानों को पुलिस ने जबरन हटाया
बसों में भरकर पुलिस लाइन ले गई, बाद में लुक्सर जेल भेजा
Farmers Movement: नोएडा। किसानो की मांगों को लेकर संयुक्त किसान मोर्चा ने सोमवार को दिल्ली कोच का प्रयास किया था। लेकिन पुलिस अधिकारी और प्रशासन के अधिकारियों के आश्वासन के बाद एक हफ्ता का समय दिए जाने के चलते संगठन ने नोएडा स्थित सेक्टर 95 दलित प्रेरणा स्थल पर एक हफ्ते तक रात दिन का धरना शुरू कर दिया था। बुधवार को किसानों के बढ़ते काफिले को देखते हुए पुलिस प्रशासन ने धरना दे रहे किसानों को पुलिस कर्मियों ने सदा कपड़ों में एवं वर्दी में जबरन उठाकर धक्का मुक्की कर बसों में भरकर पुलिस लाइन ले गए, बाद में सभी को लुक्सर जेल भेज दिया।
Farmers Movement:
इस दौरान सुखबीर खलीफा ने गिरफ्तारी के दौरान सभी किसानों से आवाहन किया कि वे प्रतिदिन दलित प्रेरणा स्थल पर जाकर धरना प्रदर्शन करें। किसान नेता सुखबीर खलीफा ने कहा कि उन्हें आश्वासन दिया गया था, कि एक हफ्ते में मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश से किसानों की वार्ता कर कर समस्याओं को हल कर दिया जाएगा। जिसके चलते संयुक्त किसान मोर्चा के नेतृत्व में नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना प्राधिकरण के अलावा बुलंदशहर ,अलीगढ़, आगरा आदि जनपदों के किसानों ने विरोध प्रदर्शन दलित प्रेरणा स्थल सेक्टर-95 में एक हफ्ते तक जारी रखने का आवाहन किया था। लेकिन मंगलवार को अचानक पुलिस के जवान सादी वर्दी एवं वर्दी में वहां पहुंचकर किसानों को जबरन धरना स्थल से उठाकर बसों में भरकर ले गए। जिससे अब संभावना व्यक्त की जा रही है कि या तो आंदोलन तेज होगा या फिर ठंडा बस्ते में चला जाएगा। लेकिन गिरफ्तारी के दौरान किसान और पुलिस के बीच काफी धक्का मुक्की हुई, जिसके चलते सैकड़ो किसान सुखबीर खलीफा की गिरफ्तारी के बाद खुद बसों में सवार हो गए थे, उसके बाद सभी को लुक्सर जेल भेज दिया।
मौके पर रही तनाव की स्थिति
भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता सुनील प्रधान ने बताया कि अपनी मांगों को लेकर किसान लंबे समय से आंदोलन कर रहे हैं। मांगे पूरी नहीं होने पर दिल्ली कूच की तैयारी की गई, लेकिन अधिकारियों ने 7 दिन का समय मांगा। इस दौरान किसानों ने फैसला लिया कि रास्ते में दलित प्रेरणा स्थल में अब आगे 7 दिनों तक आंदोलन किया जाएगा। वहां से अब पुलिस ने जबरदस्ती किसानों को उठा लिया है। सभी को गिरफ्तार कर ले जाया गया है। मौके पर पुलिस के करीब 4,000 जवान थे और किसानों की संख्या करीब सैंकड़ो रही हैं। इस दौरान तनाव की स्थिति भी साफ दिखाई दी।