डीएनए की सहायता से 1996 में महिला की हत्या का रहस्य सुलझा

Fresno-California News: लगभग 30 साल पुरानी एक रहस्यमयी हत्या की गुत्थी आख़िरकार डीएनए सबूतों की मदद से सुलझ गई है। 1996 में कैलिफोर्निया की 22 साल की डेबी डोरियन की हत्या का मामला अनसुलझा रहा था, लेकिन 2019 में एक डीएनए मैच ने हत्यारे की पहचान कर दी और उसे उम्रक़ैद की सज़ा दिलाई। इस प्रक्रिया में एक ख़तरनाक सीरियल रेपिस्ट का भी पर्दाफाश हुआ।

हत्या की भयावह घटना
अगस्त 1996 में, कैलिफोर्निया स्टेट यूनिवर्सिटी, फ्रेस्नो से अर्थशास्त्र में डिग्री पूरी करने के ठीक बाद, डेबी डोरियन अपने अपार्टमेंट में मृत पाई गईं। उनके पिता ने ही शव देखा। पोस्टमॉर्टम से पता चला कि वे दो दिन पहले दम घोंटकर मारी गई थीं। उन्हें डक्ट टेप से बांधकर मुंह बंद किया गया था।
घटना स्थल पर मिले अज्ञात पुरुष के डीएनए को राष्ट्रीय डेटाबेस CODIS में अपलोड किया गया। 2006 में एक चौंकाने वाली जानकारी मिली – यही डीएनए प्रोफाइल फ्रेस्नो से एक घंटे दूर विसालिया में हुए एक यौन उत्पीड़न के मामले से मिली। लेकिन नाम अभी भी अज्ञात था।

डीएनए जेनेटिक वंशावली का चमत्कार
2018 में, गोल्डन स्टेट किलर केस सुलझाने वाली टीम की मदद से फॉरेंसिक जेनेटिक जीनियोलॉजी तकनीक का इस्तेमाल किया गया। आख़िरकार डीएनए मिला निकी ड्यूएने स्टेन नाम के शख़्स से, जो विसालिया में रहता था। वह शादीशुदा था, दो बच्चों का पिता था, लेकिन उसका अतीत भयावह था।

पूर्व विसालिया डिटेक्टिव स्टीव पुडर ने बताया
“उसका तरीक़ा था – 18-22 साल की अकेली युवती को निशाना बनाना। बंदूक दिखाकर धमकाना और कहा जाता था, ‘जो कहूं वही करो, वरना गोली मार दूंगा।’”

कई यौन उत्पीड़न के आरोप
स्टेन पर डेबी डोरियन की हत्या के अलावा विसालिया में चार यौन उत्पीड़न के भी आरोप लगे। पूछताछ में उसने विसालिया के मामलों को स्वीकार करते हुए कहा,
“मैंने कुछ महिलाओं को सड़क पर रोका और जबरदस्ती की। ये ग़लत था।”
लेकिन डोरियन की हत्या के बारे में पहले तो उसने इनकार किया। बाद में दावा किया कि दोनों के बीच सहमति से संबंध थे – लेकिन कोई सबूत नहीं मिला। आख़िरकार उसने सभी आरोप स्वीकार कर लिए और जून 2025 में उसे उम्रक़ैद बिना पैरोल की सज़ा हुई।

मां की पुकार: “वह अनमोल थी
डेबी की मां सारा लवेन ने ABC न्यूज़ की जूजू चांग को दिए इंटरव्यू में कहा,
“वह एक अनमोल इंसान थी। दयालु, प्यार करने वाली, समझदार और अद्भुत युवती। मैं चाहती हूं कि उसे इसी रूप में याद किया जाए।”

तकनीक ने दी न्याय की उम्मीद
यह मामला दर्शाता है कि आधुनिक डीएनए तकनीक पुराने, ठंडे पड़े मामलों को भी सुलझा सकती है। गोल्डन स्टेट किलर की तर्ज पर, जेनेटिक जीनियोलॉजी ने एक बार फिर न्याय की राह दिखाई।

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