Delhi News:जल मंत्री आतिशी ने निमार्णाधीन तिमारपुर झील का किया दौरा

Delhi News:। जल मंत्री आतिशी ने वीरवार को निमार्णाधीन तिमारपुर झील का दौरा किया। करीब 40 एकड़ में बन रही इस झील का 90 फीसदी काम पूरा हो चुका है। आतिशी ने कहा कि झील न सिर्फ लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बनेगी, बल्कि आसपास के इलाकों की प्यास भी बुझाएगी। निर्माण कार्य पूरा होते ही यह झील आम लोगों के लिए खोल दी जाएगी।
जल मंत्री आतिशी ने बताया कि दिल्ली के तिमारपुर में 1940 के आसपास जल शोधन संयंत्र हुआ करता था। उस समय तालाबों के जरिए गंदा पानी साफ करने का प्रयोग किया जाता था। गंदे पानी को साफ करने का ये तरीका बहुत पुराना था, जिस कारण तिमारपुर की जमीन पर गंदा पानी जमा हो जाता था, जिससे बेहद बदबू आती थी। इस वजह से यह प्लांट बंद किया गया था, जिसके बाद लोगों ने इस साइट पर कूड़ा डालना शुरू कर दिया था। गंदगी के कारण आसपास के लोग यहां आना तक पसंद नहीं करते थे। अब वहां झील का निर्माण किया जा रहा है।
आतिशी ने कहा कि केजरीवाल सरकार दिल्ली को झीलों का शहर बनाने की दिशा में लगातार काम कर रही है। योजना के पहले चरण का 90 फीसदी काम पूरा कर लिया गया है। ग्रैप की पाबंदियों के कारण अभी निर्माण कार्य बंद है। पाबंदियां खत्म होने के बाद बाकी काम भी जल्द पूरा हो जाएगा। उन्होंने कहा कि ये झील खूबसूरती के साथ सस्टेनेबल गवर्नेंस का मिसाल बनेगा।

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फूड कैफे और ओपन एयर थियेटर भी बनेंगे
मंत्री ने कहा कि केजरीवाल सरकार की ओर से तिमारपुर झील को पर्यटन स्थल के तौर पर विकसित किया जा रहा है। यहां पर फूड कैफे, ओपन एयर थियेटर, बटरफ्लाई पार्क, गैलरी, आॅडिटोरियम जैसी तमाम सुविधाएं होंगी। झील की सुंदरता के साथ ही यहां आने वाले लोग सेल्फी प्वाइंट, सीटिंग एरिया की स्टेप प्लाजा, म्यूजियम जैसी सुविधाओं का लाभ उठा पाएंगे। झील से न केवल भूजल स्तर बढ़ेगा, बल्कि क्षेत्र में एक इकोसिस्टम का भी निर्माण होगा। साथ ही आसपास के इलाकों में पानी की कमी को पूरी किया जा सकेगा। यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि इस झील में सालभर साफ पानी भरा रहे।
झील में बनेगा सीवेज शोधन संयंत्र
आतिशी ने बताया कि तिमारपुर में झील परिसर के निर्माण के अलावा पांच एकड़ में सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट भी विकसित किया जा रहा है। परियोजना के दूसरे चरण में तिमारपुर झील परिसर में एसटीपी बनाया जा रहा है। इस प्लांट में हर रोज 25 एमएलडी पानी का शोधन किया जाएगा। इस प्लांट के शोधित पानी का इस्तेमाल झील को भरने और ग्राउंड वाटर को रिचार्ज करने में किया जाएगा। तिमारपुर झील से रोजाना कई करोड़ लीटर पानी रीचार्ज होने की संभावना है।

 

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