हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल और गृह मंत्री अनिल विज ने नूहं में उत्पन्न स्थिति पर उच्च प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों के साथ एक अहम बैठक कर स्थिति का जायजा लिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि 31 जुलाई को नूहं में हुई घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। सालों से हर वर्ष सामाजिक यात्रा निकलती रही है और 31 जुलाई को भी इस यात्रा का आयोजन किया गया। कुछ लोगों ने न केवल यात्रा पर बल्कि पुलिस पर भी आक्रमण किया। परिणामस्वरूप यात्रा को भंग किया गया और आगजनी की घटनाएं हुई, गाड़ियां जला दी गई। पूरी घटना किसी बड़े षड़यंत्र का हिस्सा लगती है। उन्होंने कहा कि अब तक इस मामले की समीक्षा करने पर पता चला है कि 6 लोगों की मौत हुई है जबकि सौ से अधिक आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है।
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बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने जानकारी देते हुए बताया कि घटना में नूहं क्षेत्र से बाहर के शामिल लोगों की पहचान की जा रही है। अब तक 44 एफआईआर दर्ज की गई तथा 70 लोगों को नामजद कर हिरासत में लिया गया है। छानबीन के बाद जो भी दोषी होंगे, उन पर कार्रवाई की जाएगी, किसी भी उपद्रवी को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने बताया कि अभी तक 5 लोगों की मृत्यु हुई है, जिनमें 2 पुलिसकर्मी शामिल हैं। जिनका जान-माल का नुकसान हुआ है, उन लोगों को मुआवजा दिया जाएगा।
उन्होंने कहा कि सरकार ने इस पूरे घटनाक्रम पर संयम से काम लिया, ज्यों ही 31 जुलाई को दोपहर में घटना की जानकारी मिली, उसी समय पुलिस महानिदेशक, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक, सीआईडी तथा अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक, कानून एवं व्यवस्था को मौके पर भेजा गया। केंद्र सरकार से केंद्रीय पुलिस बल की कंपनियों की तैनाती के लिए अनुरोध किया गया, 16 कंपनियां नूहं व आसपास के इलाके में तैनात हैं। इसके अलावा, 30 कंपनियां हरियाणा पुलिस की भी मौके पर मौजूद हैं। आस-पास के जिलों से भी अतिरिक्त पुलिस बलों को बुलाया गया है।
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उन्होंने कहा कि गुरुग्राम, फरीदाबाद व पलवल जिलों में भी कुछ छुट-पुट घटनाएं हुई थी, उन पर भी काबू पा लिया गया है। सभी जिलों में शांति स्थापित की गई है। एहतियात के तौर पर कर्फ्यू लागू किया गया है और कुछ जिलो में धारा-144 लगाई गई है। सारी स्थिति पर नजर रखी जा रही है।
शांति बहाली के लिए समाज के सभी लोग आगे आएं
मुख्यमंत्री ने नागरिकों से अपील करते हुए कहा कि जहां –जहां इस प्रकार की घटनाएं हुई हैं, सब लोग शांति बहाल करने के लिए आगे आएं। प्रशासन ने भी शांति कमेटी की बैठक की है, और मैं आशा करता हूं कि लोग शांति बनाने में सहयोग करेंगे और आगे स्थिति न बिगड़े यह सुनिश्चित करेंगे। बैठक में मुख्य सचिव संजीव कौशल, मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव डी एस ढेसी और मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव डॉ अमित अग्रवाल मौजूद थे। इनके अलावा, पुलिस महानिदेशक पीके अग्रवाल और अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक, सीआईडी आलोक मित्तल वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक में शामिल हुए।