LokSabha Election: चुनावों में गजब नजारेः ये वो नेता है जिन्होंने एक-दूसरे के खिलाफ लड़ा चुनाव, अब अपने प्रतिद्वंदी के लिए मांग रहे वोट

LokSabha Election: नए परिसिमन के बाद खुर्जा से कटकर बनी गौतमबुद्धनगर लोकसभा सीट पर होने वाला चुनाव अजब गजब दिख रहा है। इस बार भी चुनाव में कुछ ऐसा ही देखने को मिल रहा है। जिसके लिए राजनीति को जाना जाता है। एक वक्त पर गौतमबुद्धनगर लोकसभा सीट पर प्रत्याशी रह चुके नेता अब विरोधी के समर्थन में भी वोट मांग रहे हैं। गौतमबुद्धनगर सीट से पहले सांसद रहने का सौभाग्य प्राप्त करने वाले सुरेंद्र नागर इस समय भाजपा से राज्यसभा सदस्य हैं। उन्होंने वर्ष-2009 के चुनाव में बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ते हुए भाजपा के प्रत्याशी डॉ. महेश शर्मा को हराया था, लेकिन वह वर्ष-2014 के लोकसभा चुनाव से पूर्व सपा में शामिल हो गए थे। सपा ने उन्हें राज्यसभा सदस्य के साथ महासचिव बनाया। लेकिन वर्ष-2019 के लोकसभा चुनाव के बाद सपा का दामन छोड़ते हुए भाजपा में शामिल हो गए। भाजपा ने उन्हें पुनरू राज्यसभा सदस्य बनाया। वहीं राष्ट्रीय संगठन में सचिव की जिम्मेदारी सौंपी।

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सपा से नरेन्द्र भाटी लड़े थे चुनाव
वही नरेन्द्र भाटी भी लोकसभा चुनाव लड़ चुके है। गौतमबुद्धनगर में अब भाजपा प्रत्याशी के लिए प्रचार कर रहे हैं। वर्ष-2009 और 2014 में लोकसभा का चुनाव सपा के टिकट पर लड़ने वाले नरेंद्र सिंह भाटी भी वर्ष-2022 के विधानसभा चुनाव से ठीक पहले भाजपा में शामिल हो गए थे।

उन्होंने वर्ष-2009, वर्ष-2014, वर्ष-2019 के लोकसभा चुनाव में डा. महेश शर्मा के खिलाफ वोट देने की अपील की थी। लेकिन वर्ष-2024 के चुनाव में अब वह अपने प्रभाव वाले क्षेत्र में घर-घर जाकर डा. महेश शर्मा को जिताने की अपील कर रहे हैं। इसी तरह भाजपा से चार बार सांसद रह चुके डा. रमेश चंद्र तोमर को कांग्रेस ने 2009 व 2014 में अपना उम्मीदवार बनाया था। लेकिन 2014 के चुनाव के दौरान वह भाजपा में शामिल हो गए थे। वह भी अपनी पुरानी पार्टी भाजपा के लिए वोट मांग रहे हैं। भाजपा में शामिल हुए तीन गुर्जर व एक क्षत्रीय समुदाय के नेता की लोगों में अच्छी पकड़ हैं।

मतभेद भुलाकर चुनाव में लगे पदाधिकारी और कार्यकर्ता
पूर्व के चुनाव के दौरान कभी भाजपा प्रत्याशी को जमकर कोसने वाले राजनेता सभी पुराने मतभेद बुलाकर भाजपा प्रत्याशी के समर्थन में प्रचार कर रहे हैं। चुनाव से पूर्व सपा, बसपा, कांग्रेस छोड़कर आए लोगों की लिस्ट लंबी है। इनमें पूर्व विधायक सत्यवीर सिंह गुर्जर, वेदराम भाटी, रविकांत मिश्रा का नाम भी है।

सभी नेता और उनके समर्थक भी अपने इलाके में भाजपा प्रत्याशी के समर्थन में प्रचार कर रहे हैं। वहीं वर्ष-2022 के विधानसभा चुनाव में सपा में शामिल होने वाले फोनरवा अध्यक्ष योगेंद्र शर्मा ने भी किसी वक्त भाजपा प्रत्याशी के विरोध में वोट मांगने का काम किया था। मगर इसी वर्ष भाजपा में शामिल हो गए है।

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महेश शर्मा के लिए वोट मांग रहे जेवर के पूर्व बसपा विधायक
वहीं जेवर के पूर्व बसपा विधायक अब महेश शर्मा के लिए वोट मांग रहे हैं। पूर्व जिला पंचायत चेयरमैन वीरेंद्र दादा और उनके छोटे भाई नरेंद्र भाटी बसपा में रहे थे। नरेंद्र भाटी ने गत विधानसभा चुनाव में जेवर से बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ा था। लेकिन अब वह भी भाजपा प्रत्याशी के लिए वोट मांग रहे हैं।

दूसरी ओर सुश्री मायावती के करीबियों में शुमार बसपा नेता गजराज नगर, अच्छेजा के रामशरण नागर, संजीव त्यागी अब सपा के प्रत्याशी डा महेंद्र नागर के लिए वोट मांग रहे हैं। इसी तरह पूर्व जिला पंचायत सदस्य संजय भाटी और उनके बेटे अक्षय भाटी पूर्व में बसपा में शामिल थे, लेकिन अब वह गठबंधन प्रत्याशी डॉ. महेंद्र नागर के लिए वोट मांग रहे हैं। पिछले तीन लोक सभा चुनाव में भाजपा प्रत्याशी डा महेश शर्मा के साथ कंधा से कंधा मिलाकर चलने वाले ठाकुर बिरादरी के नेता देवेन्द्र खटाना इस बार बसपा प्रत्याशी राजेंद्र सोलंकी के लिए वोट मांग रहे हैं।

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