बेगूसराय में काली मंदिर पर गिरिराज सिंह फैंस क्लब का विवादित पोस्टर लगा किया दावा, ‘मुसलमानों का प्रवेश वर्जित’

A controversial poster by Giriraj Singh’s fans club was put up at the Kali temple: बिहार के बेगूसराय शहर में काली मंदिर समेत कई हिंदू धार्मिक स्थलों पर लगे विवादित पोस्टर ने राजनीतिक हलचल मचा दी है। केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह के फैंस क्लब द्वारा लगाए गए इन पोस्टर्स में गिरिराज सिंह की तस्वीर के साथ हाथ में त्रिशूल लिए हुए दिखाया गया है, और स्पष्ट रूप से लिखा है कि “गैर हिंदुओं का मंदिर में प्रवेश वर्जित है”। इस कदम को फैंस क्लब ने हिंदू परंपराओं की रक्षा का प्रयास बताया है, लेकिन विपक्षी दलों ने इसे सांप्रदायिक सौहार्द के खिलाफ करार दिया है।

पोस्टरों की यह घटना नवरात्रि के दौरान धार्मिक आयोजनों के बीच सामने आई है, जब पूरे देश में गरबा और अन्य उत्सवों को लेकर भी गैर हिंदुओं के प्रवेश पर बहस छिड़ी हुई है। बेगूसराय के काली मंदिर पर लगे पोस्टर में गिरिराज सिंह को प्रमुखता से दिखाया गया है, जो उनके समर्थकों के बीच उनकी छवि को मजबूत करने का प्रयास लगता है। फैंस क्लब के एक सदस्य ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, “यह पोस्टर मंदिर की पवित्रता बनाए रखने के लिए लगाए गए हैं। कई प्राचीन मंदिरों में पहले से ही गैर हिंदुओं का प्रवेश प्रतिबंधित है, जैसे पुरी का जगन्नाथ मंदिर। हम बस अपनी परंपराओं का पालन कर रहे हैं।”

हालांकि, इस पोस्टर ने स्थानीय स्तर पर तीखी प्रतिक्रियाओं को जन्म दिया है। जनसुराज पार्टी के नेता और प्रसिद्ध चिकित्सक डॉ. रंजन चौधरी ने कड़ी आपत्ति जताई है। उन्होंने कहा, “भारत की पहचान विविधता, सहिष्णुता और गंगा-जमुनी तहजीब से है। मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा और चर्च केवल धार्मिक केंद्र नहीं, बल्कि सांस्कृतिक एकता के प्रतीक हैं। ऐसे पोस्टर धार्मिक आस्था का अपमान हैं और भारतीय संविधान की भावना के विरुद्ध हैं।” डॉ. चौधरी ने जिला प्रशासन से इन पोस्टर्स को तत्काल हटाने की मांग की है।

बेगूसराय में गिरिराज सिंह फैंस क्लब पहले भी सक्रिय रहा है। हाल ही में मुजफ्फरपुर में इसी क्लब ने नवरात्रि के अवसर पर संध्या आरती और फलाहार कार्यक्रम आयोजित किया था, जिसमें पूर्व मंत्री सुरेश कुमार शर्मा और अन्य स्थानीय नेता शामिल हुए थे। क्लब के संरक्षक देवांशु किशोर ने बताया कि उनका संगठन धार्मिक और सांस्कृतिक आयोजनों को बढ़ावा देता है, लेकिन इस बार का पोस्टर विवाद ने इसे राजनीतिक रंग दे दिया है।

विपक्षी दल जैसे आरजेडी और कांग्रेस ने भी इस मुद्दे को उठाया है। एक आरजेडी नेता ने कहा, “यह भाजपा की हिंदुत्व राजनीति का हिस्सा लगता है, जो समाज को बांटने का काम कर रही है।” दूसरी ओर, भाजपा समर्थक इसे हिंदू अधिकारों की मांग बता रहे हैं। जिला प्रशासन ने अभी तक कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है, लेकिन स्रोतों के अनुसार, पोस्टर्स की जांच की जा रही है।

यह विवाद देशव्यापी बहस का हिस्सा बन गया है, जहां नवरात्रि के दौरान कई गरबा पंडालों में भी गैर हिंदुओं के प्रवेश पर पाबंदी लगाई गई है। विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसे कदम धार्मिक स्वतंत्रता और सांप्रदायिक सद्भाव के बीच संतुलन बनाए रखने की चुनौती पेश करते हैं। फिलहाल, बेगूसराय में तनाव कम करने के प्रयास जारी हैं, लेकिन राजनीतिक दलों के बीच यह मुद्दा गरमाता जा रहा है।

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